बिहार कैबिनेट के फैसले: आर ब्लॉक-दीघा सड़क के लिए 379 करोड़ मंजूर, मार्च में शुरू होगा काम
पटना : आर ब्लॉक से दीघा के बीच छह लेन सड़क का निर्माण इंजीनियरिंग, प्रोक्योरमेंट व कंस्ट्रक्शन (ईपीसी) मोड पर होगा. राज्य कैबिनेट ने मंगलवार को पथ निर्माण विभाग के इस प्रस्ताव की प्रशासनिक स्वीकृति को अनुमति दे दी है. साथ ही इसके लिए 379 करोड़ 57 लाख रुपये भी मंजूर किये गये हैं. इसका […]
पटना : आर ब्लॉक से दीघा के बीच छह लेन सड़क का निर्माण इंजीनियरिंग, प्रोक्योरमेंट व कंस्ट्रक्शन (ईपीसी) मोड पर होगा. राज्य कैबिनेट ने मंगलवार को पथ निर्माण विभाग के इस प्रस्ताव की प्रशासनिक स्वीकृति को अनुमति दे दी है.
साथ ही इसके लिए 379 करोड़ 57 लाख रुपये भी मंजूर किये गये हैं. इसका निर्माण मार्च में शुरू हो जायेगा. इसके लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. फरवरी तक टेंडर प्रक्रिया फाइनल कर एजेंसी का चयन कर काम एलॉट कर दिया जायेगा. मुख्यमंत्री के निर्देश पर इसके नामकरण में बदलाव के बाद विभाग ने प्रस्ताव को कैबिनेट में अनुमोदन के लिए भेजा था.
पहले इसका नाम आर ब्लॉक जंक्शन से बांकीपुर-दानापुर रोड था. अब यह आर ब्लॉक-दीघा पथ फेज वन के नाम से जाना जायेगा. आर ब्लॉक चौराहे से बेली रोड के हड़ताली मोड़, शिवपुरी, राजीव नगर होते हुए दीघा तक बनेगी. दीघा साइड में संत माइकल स्कूल से पश्चिम दानापुर-गांधी मैदान सड़क (पुरानी अशोक राजपथ) में मिलेगी. सड़क निर्माण से पटना पश्चिम के लोगों को बड़ी राहत मिलेगी. बोरिंग रोड पर दबाव कम होगा. सड़क का निर्माण पथ विकास निगम करेगा.
क्या है ईपीसी
ईपीसी मोड में ठेका लेनेवाली एजेंसी द्वारा सड़क के डिजाइन में होनेवाले इंजीनियरिंग सहित अन्य काम खुद किया जायेगा. एजेंसी को राशि की आवश्यकता होने पर सरकार उसे मदद करेगी.
हड़ताली मोड़ व राजीवनगर में बनेंगे फ्लाईओवर
आर ब्लॉक से दीघा छह लेन सड़क निर्माण की डीपीआर तैयार है. इसमें 3.5 किमी छह लेन, 2़ 80 किमी फोरलेन सड़क होगी. टू लेन सर्विस रोड 4़ 20 किमी होगी. बेली रोड में हड़ताली मोड़ के पास 100 मीटर का स्टे केबल एक्स्ट्रा डोज फ्लाईओवर का निर्माण होगा. शिवपुरी में 40 मीटर का अंडरपास, राजीवनगर में 40 मीटर का फ्लाईओवर बनना है.
सड़क निर्माण के दौरान सीवरेज के लिए ड्रेन सहित फुटपाथ का निर्माण होगा. तीन मीटर चौड़ा व तीन मीटर गहरा सीवरेज ड्रेन पूरे क्षेत्र में बनेगा. डेड़ मीटर चौड़ा व दो मीटर गहरा ड्रेन बारिश की पानी निकासी के लिए बनेगा.पूरे रूट में सड़क किनारे बस स्टॉप, पीने का पानी, शौचालय आदि का भी निर्माण होना है.
मेट्रो के लिए रहेगी जगह
इस रूट में मेट्रो प्रस्तावित है. इसके लिए बीच में चार मीटर जगह छोड़ी जायेगी. सड़क निर्माण के लिए आर ब्लॉक से दीघा के बीच रेल पटरी सहित स्लीपर हटाने का काम हो रहा है. सड़क बननेवाले हिस्से के बीच की जमीन को घेर दिया गया है. आंगनबाड़ी सेविकाओं को अब Rs 4500 मानदेय
प्रदेश की एक लाख 61 हजार सेविका-सहायिकाओं को नीतीश सरकार ने तोहफा दिया है. सामान्य आंगनबाड़ी की सेविकाओं को 3,000 रुपये की जगह 4,500 हजार रुपये, मिनी आंगनबाड़ी केंद्र की सेविकाओं को 2,250 रुपये की जगह अब 3,500 रुपये मानदेय के रूप में मिलेंगे.
इसके अलावा सहायिकाओं को 1,500 की जगह अब 2,250 रुपये दिये जायेंगे. समाज कल्याण विभाग के प्रस्ताव पर मंगलवार को मंत्रिमंडल ने मुहर लगा दी. इसके अलावा आईटीआई के लिए अनुदेशक के 65 पदों का सृजन को मंजूरी दी गयी. कैबिनेट की बैठक के बाद मंत्रिमंडल सचिवालय के विशेष सचिव उपेंद्रनाथ पांडेय ने बताया कि बैठक में कुल आठ प्रस्तावों को स्वीकृति मिली है.
प्रदेश में आंगनबाड़ी केंद्रों का संचालन करने वाली सहायिकाओं और सेविकाओं का मानदेय बढ़ाने के प्रस्ताव मंजूरी मिल गयी है. प्रदेश में एक लाख सात हजार 603 आंगनबाड़ी और सात हजार 115 मिनी आंगनबाड़ी केंद्र स्वीकृत हैं. हालांकि, वर्तमान में करीब 92 हजार केंद्र ही सक्रिय हैं.
इन केंद्रों में तैनात सेविकाओं और सहायिकाओं की कुल संख्या करीब 1,61,000 है. मानदेय बढ़ने का सीधा लाभ प्रदेश की इन सहायिकाओं और सेविकाओं को मिलेगा. खास बात यह है कि नियमित और सुचारु रूप से केंद्रों का संचालन करने पर सहायिका को अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि के रूप में 250 रुपये प्रति माह दिये जायेंगे. इस बढ़ोतरी से राज्य के खजाने पर 55 करोड़ 58 लाख तीन हजार रुपये का अतिरिक्त भार पड़ेगा.
किसानों को किया जायेगा प्रशिक्षित, 63 करोड़ मंजूर
सब मिशन ऑन एग्रीकल्चरल एक्सटेंशन योजना के माध्यम से कृषि प्रसार तंत्र को और मजबूत करने की कवायद तेज हो गयी है. इसी के तहत कृषि की उन्नत तकनीक की जानकारी देने के लिए किसानों को प्रशिक्षित किया जायेगा. इसके लिए बिहार कृषि प्रबंधन एवं प्रसार प्रशिक्षण संस्थान (बामेती) और जिला स्तरीय कृषि प्रौद्योगिकी प्रबंध अभिकरण (आत्मा) के लिए 63 करोड़ चार लाख 17 हजार रुपये की स्वीकृति कैबिनेट ने दी है.
इससे किसान परिभ्रमण, किसान पाठशाला, पुरुष-महिला किसान समूह का गठन, खाद्य सुरक्षा समूह का गठन करके बिहार के सभी किसानों को सशक्त और स्वावलंबी बनाया जायेगा. आत्मा योजना के प्रभावी क्रियान्वयन से नयी कृषि तकनीक से किसानों को रू-ब-रू कराया जायेगा, ताकि किसान फसलों का उत्पादन बढ़ा सकें.