राशन कार्ड वितरण का सच : 50 हजार लोगों को नहीं मिल रहा राशन

पटना : दो सरकारी मशीनरी के पेच से शहरी गरीबों को अनाज का लाभ नहीं मिल रहा है. अकेले पटना जिले के शहरी इलाके (पटना सदर व सिटी) में लगभग 50 हजार से अधिक लाभुकों का अब तक राशन कार्ड नहीं बन पाया है. इसमें तकनीकी पेच यह है कि जिला अनुभाजन कार्यालय से जारी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 22, 2018 3:24 AM
पटना : दो सरकारी मशीनरी के पेच से शहरी गरीबों को अनाज का लाभ नहीं मिल रहा है. अकेले पटना जिले के शहरी इलाके (पटना सदर व सिटी) में लगभग 50 हजार से अधिक लाभुकों का अब तक राशन कार्ड नहीं बन पाया है. इसमें तकनीकी पेच यह है कि जिला अनुभाजन कार्यालय से जारी किये जाने वाले राशन कार्डों को शहरी क्षेत्रों में नगर निगम को जांच रिपोर्ट देनी होती है.
अब मसला है कि लाभुकों के आवेदनों के सापेक्ष नगर निगम के कार्यपालक पदाधिकारियों ने अब तक अपनी जांच रिपोर्ट जिला प्रशासन को नहीं सौंपी है. इससे पटना सदर अनुमंडल में 26 हजार आवेदन लंबित हैं. पटना सिटी में लंबित आवेदनों की सूची लंबी है जिन्हें निगम की ओर से जांच कर देनी है. आंकड़ा भी 20 हजार से अधिक है.
ग्रामीण क्षेत्रों में नहीं फंसता दो विभागों का पेच
जहां तक जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में राशन कार्ड की उपलब्धता का सवाल है, तो विभिन्न अनुमंडलों के ग्रामीण क्षेत्रों में इसकी रिपोर्ट बेहतर है. जानकारी के अनुसार ग्रामीण क्षेत्रों में दो विभागों का पेच नहीं फंसता है. इसमें अनुमंडल पदाधिकारी के निर्देशन पर बीडीओ और सीओ स्तर पर आवेदनों की जांच की जाती है.
इसलिए मामला नहीं फंसा है. पटना सदर के अनुमंडल पदाधिकारी सुहर्ष भगत बताते हैं कि जून से लेकर अब तक सदर क्षेत्र में 13 हजार आवेदनों को स्वीकृत कर राशन कार्ड बनाया गया है. इसमें 80 फीसदी मामला नगर निगम क्षेत्र के बाहर ग्रामीण क्षेत्रों का है, जिन्हें बीडीओ स्तर पर जांच कर स्वीकृत किया जाता है.
जबकि, चार हजार के लगभग आवेदनों को अस्वीकृत किया गया है. उसी तरह पटना सिटी क्षेत्र में 4955 आवेदनों को स्वीकृत किया गया है. जिसमें अधिकतर मामले ग्रामीण क्षेत्रों के हैं.
एक दिन में मात्र सौ आवेदन
सदर शहरी इलाका होने के कारण यहां आवेदनों का दबाव अधिक है. स्वीकृत आवेदनों को जारी करने के लिए मात्र चार ऑपरेटरों को लगाया गया है. अगर सब कुछ ठीक रहा, इंटरनेट व अन्य सुविधाएं बेहतर रहीं तो एक ऑपरेटर एक दिन में 25 आवेदनों को फाइनल कर सकता है. इस हिसाब से एक दिन का आंकड़ा मात्र सौ का होता है.
नहीं लिये जा रहे नये आवेदन
स्वीकृत आवेदनों के अलावा सभी अनुमंडल में पेंडिंग आवेदनों की संख्या भी लंबी हैं. जानकारी के अनुसार जिले भर में एक लाख से अधिक आवेदन लंबित हैं. इस कारण प्रशासन की ओर से नये आवेदन लेने की स्वीकृति नहीं दी गयी है. अनुमंडल कार्यालय में नये आवेदन नहीं लिये जा रहे हैं और लाभुकों को राशन नहीं मिल पा रहा है.
कहां क्या है स्थिति
बाढ़ में 9540 आवेदनों के स्वीकृति के सापेक्ष मात्र 5281 राशन कार्ड बांटे गये हैं. दानापुर में 4766 में 3115, मसौढ़ी में 4375 में 2213, पालीगंज में 6859 में 2882, पटना सिटी में 4955 में 2150 और पटना सदर में 13 हजार स्वीकृति के बदले 5000 राशन कार्ड बांटे जा चुके हैं.

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