मिशन 2019 : मुंगेर लोकसभा की सीट का सियासी तापमान उबाल पर, एनडीए के उम्मीदवार हो सकते हैं ललन सिंह
मिशन 2019 : महागठबंधन के प्रत्याशी की स्थिति अब तक स्पष्ट नहीं, एनडीए के उम्मीदवार हो सकते हैं ललन सिंह पटना : मुंगेर लोकसभा की सीट देश की चुनिंदा हाॅट सीटों में से एक बन गयी है. यहां मोकामा के निर्दलीय विधायक अनंत सिंह की उम्मीदवारी से राज्य का सियासी तापमान उबाल पर है. मौजूदा […]
मिशन 2019 : महागठबंधन के प्रत्याशी की स्थिति अब तक स्पष्ट नहीं, एनडीए के उम्मीदवार हो सकते हैं ललन सिंह
पटना : मुंगेर लोकसभा की सीट देश की चुनिंदा हाॅट सीटों में से एक बन गयी है. यहां मोकामा के निर्दलीय विधायक अनंत सिंह की उम्मीदवारी से राज्य का सियासी तापमान उबाल पर है. मौजूदा सांसद लोजपा की वीणा देवी इस बार संभवत: नवादा सीट से उम्मीदवार होंगी. जबकि, पिछली बार दूसरे नंबर पर रहे जदयू के राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह इस बार एनडीए के उम्मीदवार हो सकते हैं.
दूसरी ओर, महागठबंधन के उम्मीदवार की स्थिति अब तक स्पष्ट नहीं हुई है. यूं तो मोकामा के विधायक अनंत सिंह मुंगेर से चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुके हैं और अपनी तैयारी भी शुरू कर दी है. लेकिन, वे किस दल के उम्मीदवार होंगे, यह अभी साफ नहीं हो सका है.
अनंत सिंह के नाम पर राजद ने अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है. पार्टी के वरीय नेता तेजस्वी प्रसाद यादव ने कह दिया है कि वे उन्हें टिकट नहीं देंगे, लेकिन अनंत सिंह का खेमा हर हाल में कांग्रेस के टिकट के लिए कोशिश कर रहा है. दूसरी ओर कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष व पूर्व मंत्री श्याम सुंदर सिंह धीरज के भी यहां से उम्मीदवार होने के कयास लगाये जा रहे हैं. जहानाबाद के सांसद डॉ अरुण कुमार ने भी मुंगेर से चुनाव लड़ने की इच्छा जतायी है.
1967 में समाजवादी नेता मधु लिमये यहां से चुने गये थे सांसद
मुंगेर के संसदीय चुनावी इतिहास को देखने से साफ होता है कि यहां समता पार्टी के दिनों से पार्टी की दमदार उपस्थिति होती रही है. 1996 में समता पार्टी के टिकट पर और 1999 में जदयू के टिकट पर ब्रह्मानंद मंडल यहां से सांसद निर्वाचित हुए.
इसके बाद 2009 में ललन सिंह यहां से जदयू की टिकट पर सांसद बने. इसके पूर्व 2004 के चुनाव में यह सीट राजद के पास चली गयी. जयप्रकाश नारायण यादव यहां से सांसद निर्वाचित हुए. 1989 के चुनाव में जनता पार्टी के उम्मीदवार के रूप में धनराज सिंह यहां से सांसद बने. इसके पहले 1980 और 1984 के चुनाव में कांग्रेस के देवेंद्र प्रसाद यादव भी यहां से सांसद निर्वाचित हुए. 1977 के आम चुनाव में श्रीकृष्ण सिंह को जनता ने जीत दिलायी थी.
आजादी के बाद से लगातार 1967 तक यहां से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बनारसी प्रसाद सिंह सांसद रहे, जबकि 1967 में देश के प्रसिद्ध समाजवादी नेता मधु लिमये यहां से सांसद चुने गये थे, लेकिन 1972 में पुन: कांग्रेस ने इस सीट पर कब्जा कर ली. डीपी यादव कांग्रेस के टिकट पर सांसद चुने गये थे.
नये परिसीमन में बदल गया इस सीट का भूगोल
2009 में नये परिसीमन में मुंगेर लोकसभा सीट का दायरा पटना के ग्रामीण इलाकों तक फैल चुका है. पटना जिले के बाढ़ और मोकामा के अलावा लखीसराय, सूर्यपूरा, जमालपुर और मुंगेर विधानसभा का क्षेत्र इसमें शामिल हैं.
इनपुट : राणा गौरी शंकर, मुंगेर