पटना : भाकपा-माले के महासचिव दीपंकर ने कहा, छह सीटों पर बनती है हमारी दावेदारी
पटना : भाकपा-माले के महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा है कि बिहार में महागठबंधन में अभी गतिरोध बना हुआ है. अब तक महागठबंधन दलों के बीच बातचीत नहीं हुई और नहीं एजेंडा तय हुआ है. उन्होंने कहा कि भाकपा-माले की राज्य की 40 लोकसभा सीटों में छह सीटें जनाधार वाली है. इस पर उनकी दावेदारी […]
पटना : भाकपा-माले के महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा है कि बिहार में महागठबंधन में अभी गतिरोध बना हुआ है. अब तक महागठबंधन दलों के बीच बातचीत नहीं हुई और नहीं एजेंडा तय हुआ है.
उन्होंने कहा कि भाकपा-माले की राज्य की 40 लोकसभा सीटों में छह सीटें जनाधार वाली है. इस पर उनकी दावेदारी बनती है. अगर महागठबंधन के अंदर कोई फाॅर्मूला बनता है, तो वह एक-दो सीटों के एडजस्टमेंट को भी तैयार है. आरा, सीवान, काराकाट, जहानाबाद, पाटलिपुत्र व वाल्मीकि नगर सीट पर पार्टी की दावेदारी की है.
पार्टी ने 2014 में 23 सीटों पर चुनाव में अपने उम्मीदवार उतारे थे. इसमें वह अपनी जनाधार वाली कटिहार, दरभंगा, समस्तीपुर, नालंदा, नवादा जैसी सीटें त्यागने को तैयार है. दीपंकर ने बुधवार को प्रेस काॅन्फ्रेंस में कहा कि कांग्रेस अगर सोचती है कि बिहार में वह स्वतंत्र चुनाव लड़े तो अन्य दलों के साथ तालमेल का रास्ता खुला है.
केंद्र पर हमला करते हुए उन्होंने कहाकि बिहार में सृजन घोटाले पर सीबीआइ कुछ नहीं कर रही है. जबकि, पश्चिम बंगाल में चिटफंड कंपनी के आरोपित मुकुल राॅय और असम के उपमुख्यमंत्री के नाम इसमें शामिल हैं, पर जैसे ही ये लोग भाजपा में शामिल हुए कि वे पाक साफ मान लियेगये. 10 प्रतिशत सवर्ण आरक्षण झुनझुना है. यह सरकार आरक्षण को ही समाप्त करना चाहती है. इस अवसर पर पार्टी के विधायक महबूब आलम व कार्यालय सचिव कुमार परवेज आदि मौजूद थे.