पटना : जमीन को लेकर वक्फ बोर्ड और नगर निगम आमने-सामने

मौर्यालोक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स का मामला पटना : कोतवाली थाने के सामने व मौर्यालोक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स की बाउंड्री पर बिहार राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड की जमीन है. इस जमीन पर 20 दुकानें हैं, जिसे वक्फ बोर्ड ने किराये पर लगाया है. अब निगम प्रशासन इस जमीन को अपनी संपत्ति मान रहा है. निगम प्रशासन ने दो-तीन […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 29, 2019 9:08 AM
मौर्यालोक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स का मामला
पटना : कोतवाली थाने के सामने व मौर्यालोक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स की बाउंड्री पर बिहार राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड की जमीन है. इस जमीन पर 20 दुकानें हैं, जिसे वक्फ बोर्ड ने किराये पर लगाया है. अब निगम प्रशासन इस जमीन को अपनी संपत्ति मान रहा है. निगम प्रशासन ने दो-तीन माह पहले दुकानदारों को नोटिस भेज कर जमीन से संबंधित कागजात मांगा था. इसके आलोक में वक्फ बोर्ड ने निगम प्रशासन को जवाब भी दिया. दो दिनों पहले निगम प्रशासन ने दुकान हटाने की कार्रवाई शुरू की थी.
इसमें नोटिस मिलने के बाद एक दुकानदार की सदमें में हर्ट अटैक से मौत होने की बात कही जा रही है. इसकी वजह से फिलहाल कार्रवाई पर रोक लगा दी गयी है. हालांकि, नगर निगम व सुन्नी वक्फ बोर्ड आमने-सामने आ गये हैं.
16 डिसमिल है वक्फ बोर्ड की जमीन : पटना क्षेत्रीय विकास प्राधिकार व सुन्नी वक्फ बोर्ड के बीच जमीन विवाद काफी पुराना है. वर्ष 1979 में सिविल कोर्ट में केस किया गया, जिसका फैसला 1992 में वक्फ बोर्ड के पक्ष में सुनाया गया. इस फैसले के अनुसार 16 डिसमिल जमीन वक्फ बोर्ड की है.
लेकिन, पीआरडीए या निगम 16 डिसमिल जमीन अब तक नाप कर बोर्ड को नहीं दी है. सुन्नी वक्फ बोर्ड के अधिकारी मो मासूम ने बताया कि निगम की ओर से किराये लिए दुकानदारों को नोटिस भेजा जा रहा है. जबकि, नोटिस बोर्ड को भेजनी चाहिए. सिविल कोर्ट व हाइकोर्ट का फैसला वक्फ बोर्ड के पक्ष में है.
इस फैसले को निगम प्रशासन मानने को तैयार नहीं है. वहीं, निगम प्रशासन की ओर से बताया गया कि विवादित भूमि का 151 नंबर प्लॉट वक्फ बोर्ड का है. जबकि, 155 नंबर प्लॉट पीआरडीए का है, जिस पर आठ दुकानें हैं. इन दुकानों को हटाने को लेकर संबंधित दुकानदारों को नोटिस भेजा गया है.
हाइकोर्ट में आज है सुनवाई
निगम के नोटिस के खिलाफ सुन्नी वक्फ बोर्ड ने हाइकोर्ट में याचिका दायर की है. इस याचिका पर सोमवार को सुनवाई होनी है. वहीं, निगम प्रशासन की ओर से भी खतियान व नक्शा के अनुरूप नापी की कार्रवाई की गयी. विवादित क्षेत्र के स्थानीय दुकानदार मो बाबर खान ने बताया कि बोर्ड का 16 डिसमिल जमीन है. निगम प्रशासन बोर्ड की जमीन के अलावा अतिक्रमण है, तो तोड़ दें.

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