पटना : बिना मंजूरी लिये नामांकन लेने वाले कॉलेजों में लगावाएं ताला

पटना : राज्यपाल लाल जी टंडन के निर्देश पर मंगलवार को राजभवन में समीक्षा बैठक हुई, जिसमें एमयू, वीर कुंवर सिंह विवि, बाबासाहेब भीमराव अम्बेदकर विवि के कुलपतियों, कुलसचिवों एवं परीक्षा नियंत्रक मौजूद थे. बैठक में राज्यपाल के प्रधान सचिव-सह-अपर मुख्य सचिव, शिक्षा विभाग आरके महाजन ने बैठक में आये कुलपतियों से कहा कि राज्यपाल […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 5, 2019 9:26 AM
पटना : राज्यपाल लाल जी टंडन के निर्देश पर मंगलवार को राजभवन में समीक्षा बैठक हुई, जिसमें एमयू, वीर कुंवर सिंह विवि, बाबासाहेब भीमराव अम्बेदकर विवि के कुलपतियों, कुलसचिवों एवं परीक्षा नियंत्रक मौजूद थे.
बैठक में राज्यपाल के प्रधान सचिव-सह-अपर मुख्य सचिव, शिक्षा विभाग आरके महाजन ने बैठक में आये कुलपतियों से कहा कि राज्यपाल का सख्त निर्देश है कि सरकार से मंजूरी वाले महाविद्यालय में ही छात्रों का नामांकन हो. इसलिए सभी कुलपति अपने विवि के वेबसाइटों पर अपने अंगीभूत एवं संबद्धता प्राप्त महाविद्यालयों एवं वहां पढ़ाये जाने वाले पाठ्यक्रमों के बारे में स्पष्ट जानकारी प्रकाशित करें. जिन महाविद्यालयों को राज्य सरकार ने संबद्धता प्रदान नहीं की है. वहां किसी भी हाल में ताला लगना चाहिए. ऐसे कॉलेजों के खिलाफ आपराधिक मामले भी दर्ज कराये जायेंगे.
– राज्यपाल एवं राज्य सरकार दोनों चाहते हैं कि छात्रों की समस्याओं की अनदेखी न हो.
– परीक्षाएं ससमय आयोजित हों. रिजल्ट का प्रकाशन करते हुए डिग्री-वितरण का कार्य भी ‘दीक्षांत समारोहों’ के माध्यम से पूरा किया जाये. इसी माह प्रमाणपत्र भी बंट जाएं .
– समीक्षा के क्रम में मगध विश्वविद्यालय, बोधगया, वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय, आरा एवं बाबासाहेब भीमराव अम्बेदकर बिहार विश्वविद्यालय, मुजफ्फरपुर के अधीन वैसे विद्यार्थी, जिन्होंने राज्य में संबद्धताविहीन महाविद्यालयों में नामांकन कराकर अपनी शिक्षा शुरू कर दी है.
– अंगीभूत महाविद्यालय में नामांकन नहीं हो पाने की स्थिति में उन विद्यार्थियों का राज्य सरकार से संबद्धता प्राप्त निकट के महाविद्यालय में शैक्षणिक सत्र की शेष अवधि के लिए नामांकन कराते हुए अध्ययन की सुविधा प्रदान की जायेगी. आवश्यकतानुसार दो पालियों में अध्यापन की सुविधा मुहैय्या करायी जायेगी. जिनके शैक्षणिक सत्र का अध्यापन पूर्ण हो चुका है, का पंजीयन कराने, परीक्षा प्रपत्र प्राप्त करने, भरने तथा परीक्षा में सम्मिलित कराने को आवश्यक कार्रवाई होगी.
– राज्य सरकार द्वार सम्बद्धता–प्राप्त महाविद्यालयों में अथवा अंगीभूत महाविद्यालयों में पुनर्नामांकन के क्रम में नामांकन शुल्क राज्य सरकार द्वारा देय होगा, लेकिन छात्रों को शिक्षण एवं परीक्षा-शुल्क स्वयं वहन करना होगा.

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