कई अभियान, मगर फिर काबिज हुए अतिक्रमणकारी

पटना : शहर में अतिक्रमण की कहानी ऐसी है कि जिला प्रशासन या नगर निगम चाहे जितना हटा ले, लेकिन सड़कें खाली नहीं हो सकती हैं. बीते वर्ष जब प्रमंडलीय आयुक्त के निर्देशन में जिला प्रशासन, नगर निगम, पथ निर्माण विभाग व बिजली विभाग ने अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू की थी, तो लगा था […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 20, 2019 7:22 AM

पटना : शहर में अतिक्रमण की कहानी ऐसी है कि जिला प्रशासन या नगर निगम चाहे जितना हटा ले, लेकिन सड़कें खाली नहीं हो सकती हैं. बीते वर्ष जब प्रमंडलीय आयुक्त के निर्देशन में जिला प्रशासन, नगर निगम, पथ निर्माण विभाग व बिजली विभाग ने अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू की थी, तो लगा था कि अब स्थिति बदल जायेगी. उस दौरान लगभग एक माह तक कार्रवाई कर लगभग पांच करोड़ का जुर्माना, दर्जनों लोगों पर प्राथमिकी की गयी थी, लेकिन बाद में अभियान मंद पड़ गया.

अब प्रशासन के साथ नगर निगम अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई कर रहा है, जुर्माना भी किया जा रहा है. लेकिन, इसका प्रभाव स्थायी नहीं है. अतिक्रमणकारियों में इसका खौफ नहीं दिखता. शुक्रवार को प्रभात खबर टीम ने उन जगहों पर पड़ताल की, जहां अभियान के बाद अतिक्रमण बिल्कुल साफ हो गया था.
कार्रवाई हुई फुस्स. राजधानी की सड़कों पर अतिक्रमण का हाल, लाखों हुए खर्च
कंकड़बाग ऑटो स्टैंड चौराहे के पास
फल व सब्जी दुकानदारों ने अतिक्रमण कर लिया है. दिन के पिक ऑवर और शाम के समय तो ठेला दुकानदार पूरी सड़क को ही अपने कब्जे में ले लेते हैं. शुक्रवार को भी ऐसे ही हालात थे.
चिरैयाटांड़ से पोस्टल पार्क का रास्ता
इस रास्ते पर भी भारी अतिक्रमण है. ठेला दुकानों से सड़क के किनारे स्थायी बसेरा बना लिया है. दोनों तरफ के रास्ते को मिला कर दस फीट से अधिक अतिक्रमण बना हुआ है. बीते दिनों अतिक्रमण हटाने के बाद यहां बेहद रास्ता साफ हो गया था.
जीपीओ गोलंबर से पटना जंक्शन गोलंबर
बीते कई वर्षों में यहां दर्जनों बार यहां से अतिक्रमण हटाया जा चुका है. लेकिन, फुटपाथी दुकानदार है कि सड़क को छोड़ने के लिए तैयार नहीं है. फ्लाइओवर के नीचे, सड़क के दोनों फ्लैंकों के किनारे पर पूरे दिन ठेला दुकानदारी होती है.
बोरिंग रोड से राजापुर पुल तक
लगातार चले अतिक्रमण अभियान से भी इन रास्तों की स्थिति नहीं बदली. बोरिंग रोड चौराहे के आगे से लेकर राजापुर पुल मोड़ तक दोबारा अतिक्रमण बना हुआ है. मोड़ के पास बुडको के नये कार्यालय के सामने ने अस्थायी कब्जा बना हुआ है.
अशोक राजपथ
शहर के व्यस्त सड़कों में से एक अशोक राजपथ पर एक बार फिर से अतिक्रमण हो गया है. दुकानों के सामने फुटपाथ दिखती नहीं. सड़क किनारे ही बाइक व अन्य वाहनों की पार्किंग होती है. शुक्रवार को भी पीएमसीएच व अंजुमन इस्लामिया के सामने अतिक्रमण
था.

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