बिहार में निर्माण कार्य ढक कर नहीं करने वाले ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी : उपमुख्यमंत्री

पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने मंगलवार को कहा कि परिवहन व सड़क, पुल तथा भवनों का निर्माण कार्य ढक कर नहीं करने वाले निजी और सरकारी ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. सड़क, पुल व भवनों के निर्माण से उत्पन्न वायु प्रदूषण की रोकथाम के लिए हितधारकों के साथ मंगलवार को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 27, 2019 10:31 PM

पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने मंगलवार को कहा कि परिवहन व सड़क, पुल तथा भवनों का निर्माण कार्य ढक कर नहीं करने वाले निजी और सरकारी ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. सड़क, पुल व भवनों के निर्माण से उत्पन्न वायु प्रदूषण की रोकथाम के लिए हितधारकों के साथ मंगलवार को यहां आयोजित बैठक को संबोधित करते हुए सुशील मोदी ने कहा कि परिवहन व सड़क, पुल तथा भवनों का निर्माण कार्य ढक कर नहीं करने वाले निजी और सरकारी ठेकेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी.

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि वायु प्रदूषण के मुख्य कारक धूलकण के उड़ने पर रोक के लिए पथ निर्माण विभाग को सड़क किनारे पक्का फ्लैंक बनाने का निर्देश दिया गया है. उन्होंने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट के अनुसार 2010-16 के बीच दुनिया के सर्वाधिक प्रदूषित 20 शहरों में 13 भारत के थे, जिनमें 3 बिहार के पटना, गया और मुजफ्फरपुर हैं. उन्होंने कहा कि जाड़े के मौसम में आद्रता की वजह से हवा में पीएम 2.5 के धूलकण की मात्रा बढ़ जाने की वजह से वायु प्रदूषण की स्थिति और भयावह हो जाती है. प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए जागरूकता पैदा करने की जरूरत है.

सुशीलमोदी ने कहा कि पटना के अतिरिक्त भागलपुर, दरभंगा और हाजीपुर में वायु गुणवत्ता अनुश्रवण केंद्र स्थापित किये जा रहे हैं. गया में पहले से कार्यरत एक सेंटर के अलावा दूसरा सेंटर भी नवंबर से काम करने लगेगा. उन्होंने कहा कि पटना के तारामंडल के पास जहां एक एयर मॉनिटरिंग सेंटर कार्यरत हैं, वहीं इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान, इको पार्क, बापू सभागार और महेन्द्रू स्थित नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी में चार नए सेंटर अक्तूबर तक काम करने लगेंगे.

डिप्टी सीएम ने कहा कि पांच साल की देखभाल के साथ एक करोड़ 70 लाख रुपये की लागत से सेंटर स्थापित करने का टेंडर किया जा चुका है. राज्य के अन्य 42 शहरों में भी इस तरह के सेंटर स्थापित कर वायु गुणवत्ता पर नजर रखी जायेगी. सुशील मोदी ने कहा कि बैट्री चालित वाहनों को प्रोत्साहित करने, ठोस कचरा तथा निर्माण सामग्रियों के प्रबंधन आदि के साथ ही नयी क्लीनर तकनीक में ईंट-भट्ठों को परिवर्तित नहीं करने वालों को नवंबर से संचालन की अनुमति नहीं दी जायेगी.

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