कोई गरीब आये, तो वह सम्मानित और संतुष्ट होकर चैंबर से निकले

पटना : डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी ने बिहार प्रशासनिक सेवा के पदाधिकारियों से कहा कि अगर उनके चैंबर या कार्यालय में कोई गरीब आये, तो वह सम्मान से और संतुष्ट होकर बाहर निकले. काम हो या नहीं हो, यह दूसरी बात है. लोग भी जानते हैं कि उनका काम एक बार में नहीं हो […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 25, 2019 1:57 AM

पटना : डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी ने बिहार प्रशासनिक सेवा के पदाधिकारियों से कहा कि अगर उनके चैंबर या कार्यालय में कोई गरीब आये, तो वह सम्मान से और संतुष्ट होकर बाहर निकले. काम हो या नहीं हो, यह दूसरी बात है. लोग भी जानते हैं कि उनका काम एक बार में नहीं हो सकता है. परंतु व्यक्ति की संतुष्टि सबसे बड़ी बात है.

डिप्टी सीएम रविवार को शहर के रवींद्र भवन में आयोजित बिहार प्रशासनिक सेवा संघ (बासा) की आमसभा को संबोधित कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने पदाधिकारियों को एक बेहतर और कुशल प्रशासक का पाठ पढ़ाया तथा आम लोगों के प्रति संवेदनशील बनने की बात कही. उन्होंने कहा, आम लोगों की यह शिकायत होती है कि अधिकारी मुलाकात नहीं करते हैं.

ऐसी छवि नहीं बननी चाहिए. एक बार मिलकर किसी का दुख सुन लें, तो उसका 90 फीसदी दुख दूर हो जाता है. उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में ब्यूरोक्रेसी, सिस्टम और नेता इनकी छवि समाज में नकारात्मक बन गयी है. किसी काम को अटकाना, अड़ंगा डालना और रोकने की छवि ब्यूरोक्रेसी की हो गयी है. इसे बदलने की जरूरत है. सुशासन एआरटी या आर्ट से चलता है. ‘ए’ का मतलब एकाउंटेब्लिटी, ‘आर’ से रिस्पांसब्लिटी और ‘टी’ का मतलब ट्रांसप्रेंसी है.

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