कानून के रखवालों ने ही उड़ायीं कानून की धज्जियां, 13 गये जेल, 86 सस्पेंड

नितिश, पटना : वर्ष 2019 बीतने को है और 2020 आने वाला है. पुलिस पर हमेशा आरोप लगते रहे हैं और अपनी लापरवाही के कारण सस्पेंड होने के साथ ही पुलिसकर्मी जेल भी जाते रहे हैं. लेकिन, 2019 में भी पुलिस अपनी वर्दी पर लगे दाग को मिटाने में नाकामयाब रही. कानून के रखवालों ने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 26, 2019 7:39 AM

नितिश, पटना : वर्ष 2019 बीतने को है और 2020 आने वाला है. पुलिस पर हमेशा आरोप लगते रहे हैं और अपनी लापरवाही के कारण सस्पेंड होने के साथ ही पुलिसकर्मी जेल भी जाते रहे हैं. लेकिन, 2019 में भी पुलिस अपनी वर्दी पर लगे दाग को मिटाने में नाकामयाब रही.

कानून के रखवालों ने ही कानून की धज्जियां उड़ायी और पुलिस विभाग को बदनाम किया. हालांकि, पुलिस के आलाधिकारियों ने उनकी गलती को माफ नहीं किया और नियमानुसार दंडित भी किया. केवल पटना जिले की बात करें, तो 2019 में 13 पुलिसकर्मियों को जेल भेजा गया और 86 पुलिसकर्मी सस्पेंड किये गये. इसमें इंस्पेक्टर, सब इंस्पेक्टर, हवलदार व सिपाही रैंक के पुलिसकर्मी शामिल थे. साथ ही पुलिसकर्मियों की कई लापरवाही भी सामने आयी. जिसके कारण उनके खिलाफ थाने में प्राथमिकी तक
दर्ज की गयी.
केस की चार्जशीट समय पर नहीं करने के कारण आरोपितों को लाभ मिलने और उनके जमानत होने का मामला भी सामने आया. इसके साथ ही केस के अनुसंधान में भी काफी लापरवाही बरतने का मामला सामने आया. सैकड़ों केस लंबित हो गये और उन केसों को निबटाने के लिए सिटी एसपी मध्य विनय कुमार तिवारी को सेंट्रल इंवेस्टिगेशन रूम बनाना पड़ा. जहां वे खुद मौजूद रहते हैं और अपनी देखरेख में केसों का निष्पादन कराते हैं. इस दौरान केसों से बंधित डीएसपी, थानाध्यक्ष व अनुसंधानकर्ता मौजूद रहते हैं.
वर्ष 2019 के कुछ मामले
सिविल कोर्ट पटना परिसर से अपराधी रवि गुप्ता के अपने एक अन्य साथी के साथ फरार होने के मामले में चार पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया गया.
अपराधी विकास के दिल्ली के होटल से फरार होने के मामले में सब इंस्पेक्टर अखिलेश सिंह समेत छह के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर जेल भेजा गया.
नौबतपुर में हुए दस लाख के सिक्का लूटकांड में पुलिसकर्मियों ने अपराधियों को छोड़ दिया था. इस मामले में बेऊर थाने के तत्कालीन थानेदार प्रवेश कुमार भारती समेत पांच पुलिसकर्मियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया.
नो इंट्री में रिश्वत लेकर महात्मा गांधी सेतु से भारी वाहनों को पार कराने के अारोप में 45 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया.
समय पर चार्जशीट नहीं कर दुष्कर्म के आरोपित को लाभ दिलाने के आरोप में राजीव नगर थाने की महिला दारोगा पूनम रानी को एसएसपी ने सस्पेंड किया.
दिल्ली निवासी दंपती को गलत केस में फंसाने के आरोप में कोतवाली थाने के पुलिसकर्मी विक्रमादित्य झा को सस्पेंड का दिया गया.
सिविल कोर्ट परिसर से तीन कैदियों के भागने में सुरक्षा में तैनात जवान मोती लाल चौधरी की लापरवाही सामने आयी थी और उसे सस्पेंड किया गया.
केस की फाइल को लेकर घूमने वाले 16 एसआइ व एएसआइ को सस्पेंड किया गया था और उनके खिलाफ दीघा थाने में मामला दर्ज किया गया.
पुलिस की गश्ती टीम के सामने ही चेन स्नैचर द्वारा एक महिला से चेन छीनने की घटना के बाद एसएसपी ने एक दारोगा को सस्पेंड कर दिया.
भागवत नगर इलाके में हुए स्वर्ण दुकान में डकैती व मकान मालिक की हत्या मामले में अगमकुआं थानाध्यक्ष संजीत कुमार सिन्हा सस्पेंड किये गये.
शराब पीकर ड्यूटी कर रहे पाटलिपुत्र थाने के मुंशी अरविंद पांडेय को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया.
सिटी एसपी पूर्वी के रीडर अजय कुमार को रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार कर जेल भेजा गया.

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