मानव तस्करों के चंगुल में फंसी लातेहार की दो आदिवासी नाबालिग बच्चियां, पटना से हुई मुक्त
Human Trafficking in Jharkhand (लातेहार) : मानव तस्करों के बहकावे में आकर लातेहार जिला के गारू थाना क्षेत्र स्थित कारवाई गांव की दो बच्चियां पटना पहुंच गयी. पटना में मानव तस्करों ने एक आदिवासी दंपती सुचिता मुंडू और एके पाल मुंडू को बेचा. उस घर में दोनों घरेलू काम करती थी. इस बात की जानकारी मिलते ही लातेहार के बाल कल्याण समिति के सदस्य सक्रिय हुए. इसी का परिणाम है कि दोनों नाबालिग बच्चियों को बिहार की राजधानी पटना से मुक्त कराया गया. दोनों पीड़िता का उम्र 11 और 12 साल है.
Human Trafficking in Jharkhand (लातेहार) : मानव तस्करों के बहकावे में आकर लातेहार जिला के गारू थाना क्षेत्र स्थित कारवाई गांव की दो बच्चियां पटना पहुंच गयी. पटना में मानव तस्करों ने एक आदिवासी दंपती सुचिता मुंडू और एके पाल मुंडू को बेचा. उस घर में दोनों घरेलू काम करती थी. इस बात की जानकारी मिलते ही लातेहार के बाल कल्याण समिति के सदस्य सक्रिय हुए. इसी का परिणाम है कि दोनों नाबालिग बच्चियों को बिहार की राजधानी पटना से मुक्त कराया गया. दोनों पीड़िता का उम्र 11 और 12 साल है.
इस संबंध में समिति के सदस्य शकील अख्तर ने बताया कि गारू के कारवाई गांव की दो बच्चियों को गांव के ही एक आदिवासी बिचौलिये के द्वारा बहला-फुसला कर पटना ले जाया गया था. यहां बिचौलियों ने मुंडू परिवार के पास बच्चियों को पैसे लेकर सौंप दिया. मुडू परिवार इन नाबालिग बच्चियो से घरेलू काम कराते थे और इनके साथ मारपीट व अन्य तरीकों से प्रताड़ित करते थे.
श्री अख्तर ने बताया कि एक बच्ची को वर्ष 2018 तथा दूसरी को वर्ष 2019 में पटना ले जाया गया था. बाद में इसकी सूचना बच्चियों के परिजनों द्वारा समिति को दी गयी थी. सूचना मिलने के बाद समिति के द्वारा मामले की सत्यता की जांच की गयी. इसके बाद बिहार के पटना, बख्तियारपुर व गया बाल कल्याण समिति के सहयोग से इन दोनों बच्चियों को बरामद किया गया. बरामद करने के बाद बच्चियों को लातेहार के बाल कल्याण समिति लाया गया. वहीं, कागजी कार्रवाई पूरी कर बच्चियों को उनके परिजनों को सौंप दिया जायेगा.
Posted By : Samir Ranjan.