पटना: पटना हाइकोर्ट ने नगर निगम के अफसरों से पूछा कि कितने दिनों में सरकारी जमीन से खटाल हटा देंगे. न्यायाधीश वीएन सिन्हा व पीके झा के खंडपीठ ने सोमवार को एक लोकहित याचिका की सुनवाई के दौरान नगर निगम के चारों अंचल के कार्यपालक अधिकारियों को तलब किया है.
अधिकारियों की मौजूदगी में कोर्ट ने कहा कि आपने हलफनामा दायर कर कहा है कि शहर से खटाल हटा दिये गये हैं. बावजूद खटाल दिख रहे हैं. कोर्ट ने कहा कि एक अवसर और दिया जा रहा है. अधिकारी सही-सही बतायें कि कब खटाल हटेंगे. कोर्ट ने कहा कि निजी जमीन पर बने खटाल पर आपत्ति नहीं है, लेकिन सरकारी जमीन पर बने खटाल को हटाना ही पड़ेगा.
सचिव व अभियंता प्रमुख तलब : खंडपीठ ने सहदेव महतो मार्ग स्थित मुख्य सड़क की मरम्मत में सड़क का लेयर ऊपर करने पर भी कड़ी फटकार लगायी. खंडपीठ ने कहा कि यह कोर्ट के निर्देश का सीधा उल्लंघन है. न्यायाधीश ने इस मामले में गंभीर रुख रखते हुए मंगलवार को पथ निर्माण विभाग के सचिव और अभियंता प्रमुख को तलब किया है.
हटेगा सीआरपीएफ का कैंप : खंडपीठ ने सरकार को निर्देश दिया है कि वह शीघ्र कोइलवर स्थित मानसिक आरोग्यशाला परिसर से सीआरपीएफ व अन्य पुलिस अधिकारियों को बाहर निकालें. कोर्ट ने कहा कि अस्पताल परिसर में वहां के निदेशक और अधीक्षक को रहना होगा. तभी मरीजों का समुचित इलाज संभव हो पायेगा.
नहीं बनेगा नया मंदिर : खंडपीठ ने पटना जिला प्रशासन को निर्देश दिया है कि वह किसी भी हाल में पटना मेडिकल कॉलेज अस्पताल परिसर में नया मंदिर का निर्माण नहीं होने दें. कोर्ट ने कहा कि परिसर में पुराने मंदिर को रहने दें. विकास चंद्र उर्फ गुडडू बाबा की याचिका की सुनवाई के क्रम में खंडपीठ को बताया गया कि पीएमसीएच परिसर में दो नये मंदिरों का निर्माण हो रहा है. इस पर कोर्ट ने कहा कि नये मंदिर का निर्माण हर हाल में रोका जाना चाहिए.