ससुरालवाले अपनाने को तैयार नहीं, बीडीओ का प्रयास विफल

चौथे दिन भी दरवाजे पर बैठी रही प्रीति मंसूरचक (बेगूसराय). मंगलवार को चौथे दिन भी प्रीति अपनी ससुराल के दरवाजे पर बैठी रही. फिर भी ससुरालवाले अपनाने को तैयार नहीं हुए. बीडीओ अशोक कुमार चौधरी द्वारा समस्या के निदान के लिए की गयी पहल भी विफल रही. उन्होंने लड़की एवं लड़का पक्ष के साथ-साथ भरौल-मकदमपुर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 18, 2015 12:03 AM

चौथे दिन भी दरवाजे पर बैठी रही प्रीति मंसूरचक (बेगूसराय). मंगलवार को चौथे दिन भी प्रीति अपनी ससुराल के दरवाजे पर बैठी रही. फिर भी ससुरालवाले अपनाने को तैयार नहीं हुए. बीडीओ अशोक कुमार चौधरी द्वारा समस्या के निदान के लिए की गयी पहल भी विफल रही. उन्होंने लड़की एवं लड़का पक्ष के साथ-साथ भरौल-मकदमपुर गांव के लोगों को बैठाने की पहल की. लेकिन, घंटा भर बीडीओ के बैठे रहने के बाद भी कोई नहीं पहुंचा. अंत में बीडीओ अंसतोष व्यक्त करते हुए मकदमपुर गांव से वापस चले आये. वहीं, चौथे दिन भी ससुरालवालों ने खाना तक देना उचित नहीं समझा. वहीं, महिला हेल्प लाइन के सदस्यों ने प्रीति को पानी पिलाया. लड़का धीरज कुमार ठाकुर ने किसी भी तरह की पंचायत को मानने से इनकार करते हुए कहा कि विशेष दबाव देने पर आत्महत्या करने को विवश हो जायेंगे. इतना सुन गांव-समाज के लोगों से लेकर राजनीतिक दल के नेता भी कुछ कहने व समझाने को तैयार नहीं हो रहे हंै. इधर, प्रीति का कहना है कि अंतिम सांस तक अपने साजन धीरज को जीत कर ही रहूंगी. प्रीति ने कहा कि हमारा घर परिवार मकदमपुर ही है, हम मरते दम तक यहीं डटे रहेंगे. वहीं, दूसरी ओर सूचना मिली है कि ग्रामीणों ने लड़के के घर का ताला तोड़ कर लड़की को घर में प्रवेश करवा दिया है.

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