नियुक्ति पत्र के लिए पीएमसीएच में ए ग्रेड नर्सो की हड़ताल, आपदा में नर्से भी छोड़ गयीं साथ
पटना: बिहार सरकार ने आपदा को देखते हुए जब डॉक्टर, नर्स व पारा मेडिकल स्टाफ की छुट्टी रद्द कर दी है, उसी वक्त पीएमसीएच की ए ग्रेड नर्से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चली गयीं. बुधवार की सुबह आठ बजे से लगभग 575 नर्से धरने पर बैठ गयीं और प्रशासन के विरोध में नारे लगाने लगीं. ऐसे […]
पटना: बिहार सरकार ने आपदा को देखते हुए जब डॉक्टर, नर्स व पारा मेडिकल स्टाफ की छुट्टी रद्द कर दी है, उसी वक्त पीएमसीएच की ए ग्रेड नर्से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चली गयीं. बुधवार की सुबह आठ बजे से लगभग 575 नर्से धरने पर बैठ गयीं और प्रशासन के विरोध में नारे लगाने लगीं.
ऐसे में इमरजेंसी लेकर वार्ड में भरती मरीजों को देखनेवाला कोई नहीं था और परिजनों को खुद से स्लाइन की बोतल पकड़नी पड़ी. नर्सो की हड़ताल पर जाने से मेट्रॉन ने सभी नर्सिग स्टूडेंट्स को काम पर लगा दिया और दिन भर जैसे-तैसे अस्पताल का काम हुआ. प्राचार्य ने उनको मनाने के लिए कई बार कोशिश की, लेकिन नर्सो ने उनकी एक नहीं सुनी.
हड़ताल से सुबह से भरती होनेवाले मरीजों को न समय पर दवा मिली और न ही इंजेक्शन. जब परिजनों ने नर्सो को खोजा तो उन्हें मालूम हुआ कि वे हड़ताल पर चली गयी हैं. हालात ऐसे हो गये हैं कि बेड पर परिजन स्लाइन की बोतल पकड़े हुए थे. समस्या उस समय हो गयी, जब परिजन को पानी बंद करने की जरूरत पड़ी. उन्हें स्लाइन को बंद करने नहीं आता था. जब इसकी खबर मेट्रॉन को मिली, तो उसने तुरंत नर्सिग छात्रों व नियमित नर्सो को काम संभालने के लिए कहा. लेकिन, मरीजों की भीड़ इतनी अधिक थी कि सुबह दो घंटे तक मरीजों को कुछ नहीं मिला.
यह है मांग
ए ग्रेड नर्सो की मांग है कि उन्हें नियुक्ति पत्र दिया जाये. उनका कहना है कि विभागीय परीक्षा में सफल होने के बाद उनके शैक्षणिक योग्यता, अनुभव, दक्षता से संबंधित दस्तावेजों की जांच नवंबर, 2014 में की गयी. इसके बाद पटना उच्च न्यायालय ने भी शीघ्र ए ग्रेड नर्सो को नियमित करने का आदेश विभाग व सरकार को दिया, लेकिन आज तक इस दिशा में कोई कार्रवाई नहीं की गयी है. अब तक उन्हें नियुक्ति पत्र नहीं दिया गया है.