पटना : बिहार के स्वास्थ्य मंत्री रामधनी सिंह के आरोपों का खंडन करते हुए पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी ने गुरुवार को कहा कि उनकी पत्नी की डिग्री फर्जी नहीं है.गौरतलब है कि रामधनी सिंह ने सुशील मोदी की पत्नी पर फर्जी डिग्री के सहारे प्रोफेसर की नौकरी करने का आरोप लगाया है. रामधनी सिंह ने दावे के साथ कहा कि वे मोदी की पत्नी की फर्जी डिग्री को जल्द ही सबके सामने लाएंगे.
सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि मेरी पत्नी की शैक्षिक डिग्री को लेकर बेबुनियाद और झुठा आरोप लगाया जा रहा है. स्वास्थ्य मंत्री रामधनी सिंह की बेटी की अवैध बहाली का पर्दाफाश होने के बाद नीतीश सरकार की स्थिति खिसियानी बिल्ली खंभा नोचे वाली हो गयी है. अवैध नियुक्ति मामले में रंगे हाथ पकड़े जाने के बाद मेरी पत्नी की पटना व मुंबई जैसे प्रतिष्ठित विश्वविद्यालयों की डिग्री का उपहास उड़ा रहे हैं. मेरी पत्नी की ओर से झूठा व बेबुनियाद आरोप लगाने वाले स्वास्थ्य मंत्री से सात दिनों के अंदर सार्वजनिक क्षमा मांगने के लिए कानूनी नोटिस दी जायेगी. अगर वे सार्वजनिक तौर पर अपना आरोप वापस लेते हुए क्षमा नहीं मांगते हैं तो मेरी पत्नी मंत्री के खिलाफ मानहानि का मुकदमा करेंगी.
मोदी ने कहा है कि नीतीश-लालू की किसी गीदड़ भभकी से मैं डरने वाला नहीं हूं. लालू यादव के 15 साल के जंगलराज के दौरान चारा, अलकतरा व दवा जैसे अनेक घोटालों को उजागर करने में महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वाह किया. झूठे मुकदमे में फंसा कर बदनाम करने की लालू प्रसाद की साजिश हो या पुलिस और निगरानी का भय, किसी से नहीं डरा. नीतीश कुमार बतायें कि मंत्री की बेटी की नियुक्ति अवैध नहीं थी, तो इस्तीफा क्यों दिया. मंत्री की बेटी की अवैध बहाली के मामले में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चुप्पी क्यों साधे हुए हैं? उन्होंने कहा कि मेरी पत्नी आठ वर्षो तक केंद्रीय विद्यालय में शिक्षण के बाद पिछले 12 वर्षों से पटना विश्वविद्यालय में कार्यरत हैं. फिलहाल पटना विवि के अंतर्गत राज्य के सबसे प्रतिष्ठित शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय की प्राचार्य हैं. पटना विवि से एमएससी, एमएड व पीएचडी की डिग्री हासिल की हैं. मेरी पत्नी अपनी डिग्री की हर तरह से जांच व सजा के लिए तैयार हैं.
पटना विवि में मेरी पत्नी की नियुक्ति लालू-राबड़ी देवी की सरकार के दौरान 2003 में हुई थी. अगर वह पिछले 12 वर्षों से फर्जी डिग्री के आधार पर काम कर रही है तो लालू-नीतीश की सरकार ने कोई कार्रवाई क्यों नहीं की.
रामधनी सिंह पहले से ही बेटी को सरकारी अस्पताल में नौकरी दिलाकर विवादों में है. लाइब्रेरियन के पद पर हाल ही में नियुक्त स्वास्थ्य मंत्री रामधनी सिंह की पुत्रीअनीताकुमारी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया. संस्थान के निदेशक प्रो एनआर विश्वास ने इस्तीफा मंजूर करने की पुष्टि की. दो हफ्ते पहले जब इस संबंध में जब रामधनी सिंह से पूछा गया था तो उन्होंने कहा था कि नियुक्ति में कोई धांधली नहीं हुई और नियुक्ति के लिए निकले विज्ञापन पर कोई भी आवेदन करने को स्वतंत्र हैं.
क्या हैं पूरा प्रकरण
स्वास्थ्य मंत्री रामधनी की बेटी अनीता कुमारी की नियुक्ति संस्थान में बतौर लाइब्रेरियन ग्रेड थ्री के पद पर तीन महीने पहले हुई थी. संस्थान के निदेशक प्रो एनआर विश्वास की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय कमेटी ने सत्रह लोगों का साक्षात्कार लिया था. विपक्ष का आरोप था कि स्वास्थ्य मंत्री की बेटी के लिए संस्थान में नियमावली का बदलाव किया गया. यह भी आरोप है कि सभी लोगों में से कई ऐसे थे जिनका अनुभव और योग्यता स्वास्थ्य मंत्री की बेटी से अधिक था इसके बावजूद उनकी नियुक्ति की गई.
फर्जी डिग्री को लेकर जल्द करेंगे खुलासा : रामधनी
रामधनी ने कहा कि मोदी की पत्नी के फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी करने के मामले की जांच कराई जा रही है. तीन दिनों में जांच रिपोर्ट आएगी. उन्होंने अपनी बेटी को आइजीआइएमएस में लाइब्रेरियन बनने के बारे में कहा कि इस मामले में पक्षपात और गड़बड़ी नहीं हुई और नियुक्ति प्रक्रिया के तहत थी. उन्होंने मोदी के आरोप को बेबुनियाद बताते हुए कहा कि उन्हें छपास का रोग है.