पटना : बिहार पुलिस ने आज बताया कि वह सांसद और जनअधिकार पार्टी के संस्थापक राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव को मिली जमानत को रद्द करने के लिए पटना उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर करेगा. पुलिस ने अपहरण, हत्या, रंगदारी और धमकी दिए जाने को लेकर जेल में बंद जदयू के बाहुबली विधायक अनंत सिंह द्वारा अंतरिम तौर पर जमानत पाने के लिए दायर याचिका का भी विरोध करने का निर्णय लिया है.
पटना के वरीय पुलिस अधीक्षक विकास वैभव ने बताया कि पप्पू यादव ने हाल में सैप जवानों के आंदोलन का नेतृत्व किया था जिससे प्रदेश की राजधानी पटना में विधि व्यवस्था की समस्या उत्पन्न हुई थी. उन्होंने बताया कि पप्पू यादव द्वारा आज अपने समर्थकों के साथ बिहार विधानसभा के सामने प्रदर्शन किए जाने से आम नागरिकों के साथ-साथ वहां तैनात सुरक्षा बलों को भी कठिनाई का सामना करना पडा. विकास वैभव ने कहा कि वैसे व्यक्ति जो कि जमानत पर रिहा हैं और बार-बार विधि व्यवस्था की समस्या उत्पन्न करें इसलिए हम उनकी जमानत को रद्द किए जाने के लिए पटना उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर करेंगे.
हाल में राजद से निष्कासित मधेपुरा संसदीय सीट से सांसद पप्पू के बारे में कहा कि अपने अधीनस्थ कर्मियों से पप्पू यादव के खिलाफ लंबित अन्य मामलों में अग्रतर कार्रवाई में तेजी लाने का निर्देश दिया है, जिन्हें माकपा विधायक अजित सरकार की हत्या के मामले में आजीन कारावास की सजा हुई थी.
माकपा विधायक अजित सरकार, उनके वाहन चालक तथा एक अन्य पार्टी कार्यकर्ता की 14 मई 1998 को पूर्णिया जिला में उस समय गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी जब वे एक कार्यकर्ता बैठक में भाग लेकर लौट रहे थे. इस मामले में सजा पाए पप्पू यादव, राजन तिवारी और अनिल यादव को पटना उच्च न्यायालय ने फरवरी 2008 में जमानत दे दी थी.
पप्पू यादव पुरलिया आर्म्स ड्राप मामले में आरोपित हैं और उनपर उक्त मामले के मुख्य आरोपी किम पीटर डेवी को देश से भागने में मदद करने का भी आरोप है. इसके साथ पप्पू कई अन्य मामलों में भी आरोपी हैं. केंद्र सरकार ने पप्पू की जान को खतरे मद्देनजर हाल में उन्हें वाई श्रेणी की सुरक्षा मुहैया करायी है.
इस बीच, पप्पू ने विकास वैभव पर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राजद प्रमुख लालू प्रसाद के लिए काम करने का आरोप लगाते हुए कहा कि वह वरीय पुलिस अधीक्षक के पक्षपातपूर्ण रवैये के खिलाफ मुकदमा दायर करेंगे.