नयी दिल्ली : नरेंद्र मोदी सरकार ने बिहार में कानून व्यवस्था की स्थिति बद से बदतर होने का आरोप लगाते हुए वहां राष्ट्रपति शासन की मांग करने वाले पार्टी सांसदों को प्रदेश की सुरक्षा स्थिति की समीक्षा करने का आश्वासन दिया. लोकसभा सदस्य पप्पू यादव, भाजपा के कीर्ति आजाद तथा भोला सिंह द्वारा शून्यकाल के दौरान यह मुद्दा उठाये जाने पर संसदीय मामलों के राज्य मंत्री राजीव प्रताप रुडी ने इन सदस्यों की चिंताओं से सहमति जतायी.
राजीव प्रताप रुडी ने गुरुवार को पटना में एक भाजपा नेता की सरेआम गोली मार कर हत्या किए जाने को दर्दनाक बताया और कहा कि वहां दिल्ली के निर्भया कांड से भी अधिक बर्बर तरीके से एक सात साल की बच्ची से बलात्कार की घटना हुई है. उन्होंने सदस्यों को आश्वासन दिया कि बिहार की विधि व्यवस्था की समीक्षा के लिए वह गृह मंत्री से बात करेंगे और जरूरत हुई तो प्रदेश के पार्टी सांसदों को साथ लेकर यह समीक्षा बैठक की जाएगी. बिहार में हालात का जायजा लेने के लिए सांसदों का एक शिष्टमंडल भेजे जाने की सदस्यों की मांग पर उन्होंने कहा कि समीक्षा बैठक में इस प्रस्ताव पर विचार किया जाएगा.
इससे पहले पप्पू यादव ने यह मामला उठाते हुए कहा कि बिहार में लोकतंत्र खतरे में है जहां पिछले दिनों पर्वत्ता गांव में महादलितों के परिवारों को लूटा गया. 80 महिलाओं को लाठियों से पीटने के साथ ही उन्हें हवस का शिकार बनाया गया. उन्होंने कहा कि न केवल महिलाओं बल्कि छोटी बच्चियों से लेकर 60 साल की बुजुर्ग महिलाओं से बलात्कार किया गया.
पप्पू यादव ने आरोप लगाया कि राजद और बिहार में सत्तारुढ जदयू के बीच तालमेल होने के बाद से कानून व्यवस्था की स्थिति और अधिक खराब हो गयी है. उन्होंने कहा कि दलितों, महादलितों और विपक्षी पार्टियों के विधायकों, सांसदों को निशाना बनाया जा रहा है. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि बिहार में एक महीने में बलात्कार की 70 घटनाएं और सामूहिक बलात्कार की सात घटनाएं हो रही हैं. उन्होंने पर्वत्ता घटना की सीबीआइ जांच और बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने की मांग की.
पप्पू यादव ने यह भी कहा कि उनकी सुरक्षा छीन ली गयी है और उन्हें जान से मरवाने की साजिश हो रही है. भाजपा के कीर्ति आजाद ने कहा कि जब पप्पू यादव जैसे सांसद को जान से मारने की धमकी मिली है तो वास्तव में बिहार में लोकतंत्र खतरे में है. उन्होंने बिहार में अपराधियों के हौंसले बुलंद होने की बात करते हुए कहा कि कल पटना में एक भाजपा नेता की सरेआम हत्या कर दी गयी और एक महीना पहले ही मिथिलांचल के समतौल थाना प्रभारी को मौत के घाट उतार दिया गया.
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के आदेश पर गांव गांव में शराब की दुकानें खुल गयी हैं. लोग अवैध शराब पीकर मर रहे हैं और प्राथमिकी तक दर्ज नहीं हो रही है. इसी पार्टी के भोला सिंह ने कहा कि कानून व्यवस्था राज्य का मामला हो सकता है लेकिन जब राज्य सरकार ही कानून व्यवस्था को बिगाड़ रही है तो केंद्र चुपचाप नहीं बैठ सकता. उन्होंने कहा कि वह राष्ट्रपति शासन की मांग नहीं कर रहे हैं लेकिन सांसदों का एक शिष्टमंडल प्रदेश में भेजा जाये और उसके दौरे के बाद उसकी रिपोर्ट सदन में रखी जाये. उन्होंने कहा कि सदन उस रिपोर्ट पर चर्चा करे और चर्चा में जो राय बनती है उसके अनुसार कार्रवाई की जाये.