जदयू को बड़ा झटका, 4 बागी विधायक भाजपा में शामिल, कल रालोसपा में शामिल होंगे गौतम सिंह

पटना: बिहार विधानसभा के लिए सितंबर-अक्टूबर में संभावित चुनाव के पहले सूबे में राजनीतिक गतिविधियां तेज हो गयी है. इसी कड़ी में बुधवार को जदयू के चार बागी विधायक भाजपा में शामिल हो गये है. ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू समेत जदयू के चार बागी विधायकों ने भाजपा प्रदेश कार्यालय में पार्टी की सदस्यता ग्रहण की. मुख्यमंत्री […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 19, 2015 12:54 PM

पटना: बिहार विधानसभा के लिए सितंबर-अक्टूबर में संभावित चुनाव के पहले सूबे में राजनीतिक गतिविधियां तेज हो गयी है. इसी कड़ी में बुधवार को जदयू के चार बागी विधायक भाजपा में शामिल हो गये है. ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू समेत जदयू के चार बागी विधायकों ने भाजपा प्रदेश कार्यालय में पार्टी की सदस्यता ग्रहण की. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के करीबी रहे ज्ञानू के साथ विधायक राजेश्वर राज, दिनेश कुशवाहा और सुरेश चंचल भाजपा में शामिल हुए है. वहीं, सारण के मांझी से जदयू विधायक एवं पूर्व मंत्री गौतम सिंह कल रालोसपा में शामिल होंगे.

भाजपा प्रदेश कार्यालय में मिलन समारोह के अवसर पर जदयू के चारों बागी विधायकों ने पार्टी की सदस्यता ग्रहण की. इस दौरान पार्टी के प्रमुख नेता भी उपस्थित थे. वहीं, सारण के मांझी से जदयू के विधायक गौतम सिंह भी नीतीश को झटका देने की तैयारी में जुट गये है. गुरुवार को पूर्व मंत्री गौतम सिंह रालोसपा में शामिल होंगे. सूत्रों की मानें तो चुनाव के पहले जदयू नेताओं का इस तरह से भाजपा में शामिल होने से पार्टी की मुश्किलें बढ़ सकती है. भाजपा चुनाव में महागंठबंधन को पटखनी देने के लिए कोई भी कसर छोड़ने के मूड में नहीं है. इससे पहले जदयू विधायक राजीव रंजन को भाजपा में शामिल किया गया था. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मंगल पांडेय ने इस मौके पर कहा था कि जल्द ही जदयू के अन्य नेताओं को भी पार्टी में शामिल किया जायेगा.

इस मौके पर विधायक ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू ने कहा कि हम मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का खूब अच्छी तरह से जानते हैं. नीतीश कुमार ने बिहार की जनता के साथ-साथ जॉर्ज फर्नांडीस, दिग्विजय सिंह, एनके सिंह, शिवानंद तिवारी समेत उन सभी को धोखा दिया जिस किसी ने भी उन्हें आगे बढ़ाने का काम किया. ज्ञानू ने कहा कि बिहार की जनता ने सरकार बनाने के लिए एनडीए को वोट दिया था लेकिन नीतीश ने बिहार की जनता को धोखा दिया और भाजपा को छोड़कर लालू के साथ हाथ मिला लिया.

उल्लेखनीय है कि इससे पहले 31 जुलाई को पटना हाईकोर्ट ने जदयू के चार बागी विधायकों की सदस्यता बहाल करके मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को जोर का झटका दिया था. जदयू ने इन चारों पर पार्टी के खिलाफ गतिविधियों का आरोप लगाते हुए निष्कासित कर दिया था. वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी पहले ही एनडीए के खेमे में शामिल हो गये है. उधर, राजद से निष्काषित सांसद पप्पू यादव ने भी अपनी अलग पार्टी बनाकर कोसी क्षेत्र में महागंठबंधन को चुनौती देने की तैयारी कर ली है. ऐसे में आने वाले वक्त में नीतीश-लालू को किन मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है यह तो समय ही बतायेगा.

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