केजरीवाल कांग्रेस व लालू पर नजरिया बताएं : सुशील मोदी
पटना : दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल को कांग्रेस और लालू यादव को ले कर अपना नजरिया साफ करना चाहिए. बिहार में जो सरकार चल रही है, नीतीश कुमार तो उसके मुखौटा मात्र हैं. असली ताकत तो लालू यादव हैं, जिन्हें घोटाले के आरोप में 11 साल की सजा हुई है. वे चुनाव तक नहीं […]
पटना : दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल को कांग्रेस और लालू यादव को ले कर अपना नजरिया साफ करना चाहिए. बिहार में जो सरकार चल रही है, नीतीश कुमार तो उसके मुखौटा मात्र हैं. असली ताकत तो लालू यादव हैं, जिन्हें घोटाले के आरोप में 11 साल की सजा हुई है. वे चुनाव तक नहीं लड़ सकते हैं. उनके राज में दर्जनों घोटाले हुए हैं, दर्जन भर मंत्रियों को जेल भी जाना पड़ा है.
केजरीवाल से अपना नजरिया साफ करने की मांग गुरुवार को पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने की है. उन्होंने केजरीवाल से यह भी जानना चाहा है कि क्या बिहार में आज नीतीश कुमार की सरकार उसी लालू यादव और कांग्रेस की बदौलत नहीं टिकी है, जो भ्रष्टाचार के पर्याय हैं. क्या केजरीवाल नीतीश कुमार का समर्थन कर भ्रष्टाचार के प्रतीक और घोटाले में सजायाफ्ता लालू यादव का समर्थन नहीं कर रहे हैं? उन्होंने केजरीवाल को उनका ट्वीट भी याद दिलाया है, जिसमें उन्होंने कहा था कि लालू यादव ने करोड़ों रुपया चारा-घोटाला में कमाया है, किंतु कोर्ट ने उनसे पैसे वसूलने के लिए कोई आदेश नहीं दिया है. बस कुछ वर्षों की सजा व 25 लाख रुपये का जुर्माना! यह कैसा गुप्त समझौता है?
उन्होंने केजरीवाल से पूछा है कि क्या नीतीश कुमार ने आज उसी लालू यादव से हाथ नहीं मिला लिया है, जिनके शासन को ‘जंगल-राज’ कहा जाता था. क्या नीतीश कुमार को वोट देने का मतलब बिहार में एक बार फिर ‘जंगल-राज’ को मजबूत करना नहीं है. ऐसे में नीतीश कुमार का समर्थन कर अरविंद केजरीवाल बिहार की जनता को क्या संदेश देना चाहते हैं? मोदी ने उन्हें जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव, सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव और राजद सुप्रीमो लालू यादव द्वारा उनके बारे में कही गयी बातें भी याद दिलायी हैं. उन्होंने कहा है कि यदि उनमें राजनीतिक साहस है, तो अपने मंच पर लालू और कांग्रेस के नेताओं को भी बैठाये.