पहले थानेदार रहे, अब लड़ेंगे चुनाव
जदयू की राजगीर सीट भी क्लीयर, रवि ज्योति भिड़ेंगे भाजपा से पटना/बिहारशरीफ : राजगीर (सुरक्षित) विधानसभा सीट के लिए महागंठबंधन के उम्मीदवार को लेकर फंसा पेंच सुलझ गया है. महागंठबंधन में यह सीट जदयू को दी गयी है. जदयू की ओर से पुलिस इंस्पेक्टर की नौकरी छोड राजनीति में आये रवि ज्योति को अपना उम्मीदवार […]
जदयू की राजगीर सीट भी क्लीयर, रवि ज्योति भिड़ेंगे भाजपा से
पटना/बिहारशरीफ : राजगीर (सुरक्षित) विधानसभा सीट के लिए महागंठबंधन के उम्मीदवार को लेकर फंसा पेंच सुलझ गया है. महागंठबंधन में यह सीट जदयू को दी गयी है. जदयू की ओर से पुलिस इंस्पेक्टर की नौकरी छोड राजनीति में आये रवि ज्योति को अपना उम्मीदवार बनाया है.
जदयू की ओर से उनकी उम्मीदवारी की आधिकारिक घोषणा गुरुवार को कर दी जायेगी. इसके पहले ओबरा सीट से पिछले विधानसभा चुनाव में सोमप्रकाश दारोगा पद से इस्तीफा देकर विधायक बने थे.
रवि ज्योति पांच अक्तूबर को अपना नामांकन का परचा दाखिल करेंगे. उनके नामांकन के मौके पर जदयू के वरिष्ठ नेता और सरकार में मंत्री श्रवण कुमार तथा स्थानीय सांसद कौशलेंद्र कुमार के मौजूद रहने की संभावना है. 1994 बैच के दारोगा रहे रवि ज्योति मूलत: दरभंगा जिले के लहेरियासराय स्थित नवटोलिया के रहने वाले हैं. उन्हें हाल ही में इंस्पेक्टर के पद पर प्रोन्नति मिली थी और इसके बाद तबादला बक्सर कर दिया गया था. राजगीर सुरक्षित सीट पर रवि ज्योति का मुकाबला भाजपा के दिग्गज उम्मीदवार सत्यदेव नारायण आर्य से होने वाला है. श्री आर्य एनडीए की सरकार में बिहार में मंत्री रहे हैं और 1990 को छोड 1977 से लगातार इस सीट से विधायक निर्वाचित होते आये हैं.
जदयू से कनेक्शन : रवि ज्योति कुमार का जिले से पुराना संबंध रहा है. वे पहली बार प्रोबेशन की अवधि में जिले में तैनात रहे. इसके बाद वर्षाें तक यहां के विभिन्न थानों में थानाध्यक्ष के रूप में कार्य कर चुके हैं. रवि ज्योति का रिश्ता राजनीति से जुडा रहा है. इनकी बुआ श्यामा कुमारी वारिसनगर विधानसभा सीट से तीन बार विधायक रहीं हैं. पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता संजय पासवान तथा लोजपा अध्यक्ष रामविलास पासवान के दामाद मृणाल से पारिवारिक रिश्ते हैं. रवि ज्योति ने कहा कि वह खुद पार्टी के शीर्ष नेता के पास टिकट मांगने गये थे. पार्टी ने उनकी बातों को तरजीह दी.
लिया वीआरएस : रवि ज्योति ने जदयू प्रत्याशी के पुलिस इंस्पेक्टर के पद से वीआरएस लिया है. यह बीआरएस 27 सितंबर को स्वीकार कर लिया गया है.
जदयू के लिए खास क्यों
राजगीर (सुरक्षित) सीट भाजपा की परंपरागत सीट रही है. यहां से 1972 से सत्यदेव नारायण आर्य पहले जनसंघ पार्टी से 1977 में जनता पार्टी से और उसके बाद 1980 से लगातार 2010 तक भाजपा से प्रत्याशी रहे हैं. उन्हें हटाने के लिए जदयू को एक दमदार प्रत्याशी की तलाश थी. इसी तलाश के दौरान जदयू की नजर पुलिस इंस्पेक्टर रवि ज्योति कुमार की ओर गयी और उन्हें अपना प्रत्याशी बना दिया.