नीतीश कुमार पर भुजंगों का असर

लालू प्रसाद की सभाओं में भीड़ नहीं जुट रही है. मनोरंजन के लिए जहां तमाशबीन ज्यादा जुटते हैं, वहां वे ओझाओं की तरह भूत-पिशाच की बातें करने लगते लालू यादव के पास भविष्य नहीं, केवल भूतकाल बचा है. नीतीश कुमार पर भुजंगों का असर है कि उनकी भाषा घटिया हो गयी. उन्हें प्रधानमंत्री के मेगा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 21, 2015 5:09 AM
लालू प्रसाद की सभाओं में भीड़ नहीं जुट रही है. मनोरंजन के लिए जहां तमाशबीन ज्यादा जुटते हैं, वहां वे ओझाओं की तरह भूत-पिशाच की बातें करने लगते लालू यादव के पास भविष्य नहीं, केवल भूतकाल बचा है.
नीतीश कुमार पर भुजंगों का असर है कि उनकी भाषा घटिया हो गयी. उन्हें प्रधानमंत्री के मेगा पैकेज, जन-धन योजना-बीमा योजना गरीबों के लिए मुफ्त गैस कनेक्शन और जीडीपी का 4.3 फीसद से बढ़कर 7 फीसद हो जाना दिखायी नहीं पड़ता. जहर का पहला असर जुबान और नजर पर हुआ है.

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