एचडीएफसी बैंक हटा, अब भवन पर कब्जा करेगा नगर निगम

एचडीएफसी बैंक हटा, अब भवन पर कब्जा करेगा नगर निगममामला एसके पुरी स्थित अवैध निर्माण पर हुई कार्रवाई कासंवाददाता, पटनापीआरडीए के एसके पुरी स्थित आवासीय भूखंड संख्या 165बी गजेंद्र मोहन मिश्रा, गुणेंद्र मोहन मिश्रा और नीरेंद्र मोहन मिश्रा के नाम पर आवंटित थी, जिस पर व्यावसायिक कॉम्प्लेक्स बनाया गया. इस कॉम्प्लेक्स में एचडीएफसी बैंक चल […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 31, 2015 10:25 PM

एचडीएफसी बैंक हटा, अब भवन पर कब्जा करेगा नगर निगममामला एसके पुरी स्थित अवैध निर्माण पर हुई कार्रवाई कासंवाददाता, पटनापीआरडीए के एसके पुरी स्थित आवासीय भूखंड संख्या 165बी गजेंद्र मोहन मिश्रा, गुणेंद्र मोहन मिश्रा और नीरेंद्र मोहन मिश्रा के नाम पर आवंटित थी, जिस पर व्यावसायिक कॉम्प्लेक्स बनाया गया. इस कॉम्प्लेक्स में एचडीएफसी बैंक चल रहा था. अब बैंक ने कॉम्प्लेक्स खाली कर दिया है और नगर आयुक्त को सूचना दी है कि बिल्डिंग अपने कब्जा में कर ले. नगर आयुक्त जय सिंह ने बताया कि बैंक के ब्रांच मैनेजर नीलेश किशोर ने सूचना दी है कि 15 अक्तूबर को बिल्डिंग खाली कर दी गयी है. इसको लेकर निगरानी पदाधिकारी को निर्देश दिया कि बिल्डिंग को अपने कब्जा में लेने की प्रक्रिया शीघ्र शुरू करें. अवैध निर्माण में आवंटन किया गया है रद्द :एसके पुरी आवासीय भूखंड पर आवंटी ने निगम के एनओसी लिये बिना बिल्डर से मिलीभगत से भूखंड पर बी+जी+7 फ्लोर के व्यावसायिक कॉम्प्लेक्स का निर्माण कराया. इसके साथ ही बिल्डिंग में व्यावसायिक गतिविधि भी संचालित होने लगीं. इसको लेकर निगरानीवाद संख्या 99ए/2013 दर्ज किया गया. इस केस में तत्कालीन नगर आयुक्त कुलदीप नारायण ने एक अगस्त को फैसला देते हुए आवंटन रद्द करते हुए आवंटी को आवंटन राशि सूद सहित लौटाने और बिल्डिंग को अपने कब्जा में करने का आदेश दिया. इस निर्देश के आलोक में भूसंपदा पदाधिकारी ने सितंबर 2014 में बिल्डिंग पर कब्जा करते हुए बिल्डिंग पर सूचना भी लगा दी थी. एक वर्ष का समय मांगा था बैंक :निगम प्रशासन ने बिल्डिंग पर कब्जा किया और बैंक खाली करने के लिए बैंक प्रबंधन को छह माह का समय दिया था. इसका कारण था कि बैंक का सीधा जुड़ाव आमलोगों से होता है, जिससे खाली करने का छह माह का वक्त दिया गया. हालांकि, बैंक के ब्रांच मैनेजर ने एक वर्ष की समय मांगी थी, जिसे निगम प्रशासन ने स्वीकृति दी थी. निर्धारित समय सीमा के भीतर ब्रांच खाली कर दिया गया है.

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