महागंठबंधन की चांदनी बस चार दिन और : नंदकिशोर यादव

पटना : बिहार विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता नंदकिशोर यादव ने कहा है कि जदयू–राजद और कांग्रेस गंठबंधन की चांदनी सिर्फ चार दिन की रह गयी है. इन चार दिनों में इस गंठबंधन को जितना झूठ बोलना है, बोल ले क्योंकि 8 तारीख को जब इवीएम खुलेंगे तो इनके हवाई दावों का गुब्बारा फूट जायेगा. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 4, 2015 6:01 AM
पटना : बिहार विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता नंदकिशोर यादव ने कहा है कि जदयू–राजद और कांग्रेस गंठबंधन की चांदनी सिर्फ चार दिन की रह गयी है. इन चार दिनों में इस गंठबंधन को जितना झूठ बोलना है, बोल ले क्योंकि 8 तारीख को जब इवीएम खुलेंगे तो इनके हवाई दावों का गुब्बारा फूट जायेगा. उन्होंने कहा कि जिस कांग्रेस ने बिहार को विशेष पैकेज न देकर यहां के विकास को बाधित किया, उसके अध्यक्ष और उपाध्यक्ष भी यहां आकर विकास पर भाषण दे रहे हैं.
इनसे जदयू सुप्रीमो ने एक बार भी नहीं पूछा कि दस साल तक बिहार की याद क्यों नहीं आई. अब चुनाव के समय ही ये बिहार क्यों आ रहे हैं? चुनाव प्रचार के दो महीने में एक बार भी जदयू सुप्रीमो ने न तो अपनी सरकार का हिसाब दिया और न ही अपने गंठबंधन के दलों का हिसाब दिया. इन तीनों दलों ने अपने 60 साल का हिसाब नहीं दिया, लेकिन जनता ने इनका हिसाब अच्छी तरह कर दिया.
श्री यादव ने राजद प्रमुख पर पलटवार करते हुए कहा कि जो लोग भाजपा को छठी का दूध याद दिलाने जैसे दावे कर रहे हैं, उनको शायद पिछले साल के लोकसभा चुनाव के नतीजे याद नहीं हैं.
राजद प्रमुख तो हमेशा ऐसे ही दावे किया करते हैं और हर बार जनता इनके दावों की हवा निकाल देती है. इन्होंने लोकसभा चुनाव के समय भी कहा था कि नरेंद्र मोदी जी कभी प्रधानमंत्री बन ही नहीं सकते, उनकी कुंडली में प्रधानमंत्री का योग ही नहीं है। बिहार और देश की जनता ने नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बनाकर ये बता दिया कि लोकतंत्र में किसी की कुंडली सिर्फ जनता बना सकती है. श्री यादव ने कहा कि पांचवें और अंतिम चरण में एनडीए की स्थिति काफी मजबूत है. जिन 57 सीटों पर मतदान हो रहे हैं, पिछले विधानसभा चुनाव में भी वहां सबसे ज्यादा सीटें भाजपा ने ही जीती थी.
मिथिलांचल और कोसी के साथ–साथ सीमांचल की जनता भी राजद–जदयू जैसेदलों को करारा सबक सिखाने जा रही है. कहीं भी जाति और धर्म के आधार पर नहीं सिर्फ विकास के लिए लोग वोट कर रहे हैं. इसी से ये लोग हताश हैं. अब ये झूठ, दुष्प्रचार और हवाई दावों से किसी तरह अपने पक्ष में माहौल बनाने में जुटे हैं.

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