पटना के फफ्टिी-फफ्टिी रहा मुकाबला
पटना के फिफ्टी-फिफ्टी रहा मुकाबलाभाजपा को मिली सर्वाधिक सात सीटें, चार पर राजद, एक-एक पर कांग्रेस व जदयू तथा एक पर निर्दलीय का कब्जापांच नये विधायकों को भी मिली जीतलोजपा व हम का नहीं खुल सका खातासंवाददाता, पटनागंठबंधन के लिहाज से पटना जिले की सात सीटों पर मुकाबला फिफ्टी-फिफ्टी का रहा. दोनों गंठबंधनों ने सात-सात […]
पटना के फिफ्टी-फिफ्टी रहा मुकाबलाभाजपा को मिली सर्वाधिक सात सीटें, चार पर राजद, एक-एक पर कांग्रेस व जदयू तथा एक पर निर्दलीय का कब्जापांच नये विधायकों को भी मिली जीतलोजपा व हम का नहीं खुल सका खातासंवाददाता, पटनागंठबंधन के लिहाज से पटना जिले की सात सीटों पर मुकाबला फिफ्टी-फिफ्टी का रहा. दोनों गंठबंधनों ने सात-सात सीटों पर जीत हासिल की. भाजपा ने सर्वाधिक सात सीटों पर जबकि राजद ने चार सीटों पर कब्जा जमाया. कांग्रेस, जदयू व निर्दलीय को एक-एक सीट मिली.भाजपा की जीत का औसत रहा बेहतरपार्टियों में भाजपा की जीत का औसत सबसे बेहतर रहा. पार्टी दस सीटों पर चुनाव लड़ रही थी, जिसमें उनको सात पर सफलता मिली. इसी तरह, राजद ने भी चुनाव लड़ रहे सात में से चार सीट पर सफलता पायी. कांग्रेस को तीन में दो जबकि जदयू को चार में से सिर्फ एक सीट पर ही सफलता मिल सकी. एनडीए गंठबंधन के बैनर तले दो-दो सीटों पर लड़ रही रामविलास पासवान की पार्टी लोजपा और जीतन राम मांझी की पार्टी हम सेक्यूलर का खाता भी नहीं खुल सका.पहली बार चुनकर आये पांच विधायकजिले से पांच विधायक पहली बार चुन कर आये. इनमें बख्तियारपुर से भाजपा के रणविजय कुमार सिंह उर्फ लल्लू मुखिया, दीघा से संजीव चौरसिया, मसौढ़ी से राजद की रेखा देवी, बिक्रम से कांग्रेस के सिद्धार्थ और पालीगंज से राजद के जयवर्दधन यादव उर्फ बच्चा यादव शामिल रहे. इनमें रणविजय सिंह, संजीव चौरसिया और रेखा देवी ने पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ा जबकि सिद्धार्थ और जयवर्दधन यादव को दूसरी बार में यह सफलता मिली.