पटना : जदयू प्रवक्ता और विधान पार्षद संजय सिंह ने कहा कि हम जीत से न इतराते हैं और न ही हार से बौखलाते हैं. महागठबंधन की जीत में जदयू, राजद व कांग्रेस के कार्यकर्ता न तो मदहोश हुए हैं और न ही किसी ने अपना आपा खोया है. यह भाजपा के नेता हैं कि हार से इतने बौखला गये हैं कि अब अनाप-शनाप बोले जा रहे हैं.
यही भाजपा के नेता थे जब लोकसभा में जीत हुई थी तो सड़कों पर आतंक फैलाये हुए थे. सीधे मुंह किसी से बात तक नहीं करते थे. घमंड इतना कि जैसे इन्होंने पूरी दुनिया ही फतह कर ली हो. भाजपा नेता नंदिकशोर यादव को ये ध्यान रखना चाहिए कि समय अपने आपको दोहराता जरूर है और जब जदयू की जीत हुई है तो आरोप लगा रहे हैं. यह तमाम बयान भाजपा के निराशा और हताशा के हैं.
जनता ने जो सबक भाजपा के घमंडी नेताओं को सिखाया है, उससे सबक लेनी चाहिए. बिहार में भाजपा के प्रदेश नेतृत्व के सभी नेता और राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को एक रैली बुला कर सभी के सामने माफी मांगनी चाहिए. जिस तरह से नीतीश कुमार को गाली देने का का काम किया गया , बिहार के लोगों को बांटने की कोशिश की गयी, एक खास समुदाय को टारगेट किया गया. अमित शाह ने कहा था कि आठ नवंबर को नीतीश कुमार सरकारी गाड़ी से इस्तीफा देने राजभवन जायेंगे और दस बजे तक बिहार में भाजपा की सरकार बनेगी.
इस तरह से बिहार के लोकिप्रय नेता नीतीश कुमार माखौल उड़ाया गया. इस पर जनता ने अपना जबाब इस तरह दिया है. इन तमाम ग़लतियों के लिए भाजपा को सार्वजनिक तौर पर माफी मांगनी चाहिए. तब कहीं जाकर बिहार की जनता बिहार में राजनीति करने की इजाज़त देगी, नहीं तो जिस तरह से बिहार विधान सभा में हार का मुंह देखना पड़ा, उसी तरह आगे भी उत्तर प्रदेश, आसाम और पश्चिम बंगाल में भी करारी हार का सामना करना पड़ जायेगा.