बिल गेट्स की नीतीश से मुलाकात, स्वास्थ्य मुद्दों पर मिलकर करेंगे काम
पटना : ‘द बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन’ के सह अध्यक्ष एवं ट्रस्टी बिल गेट्स ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सेशनिवारको यहां मुलाकात की और अगले पांच वर्षों तक परिवार नियोजन एवं टीकाकरण जैसे प्रमुख स्वास्थ्य संकेतकों पर साथ काम करने के तरीकों पर चर्चा की. फाउंडेशन ने मातृ, नवजात शिशुओं और बाल स्वास्थ्य, […]
पटना : ‘द बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन’ के सह अध्यक्ष एवं ट्रस्टी बिल गेट्स ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सेशनिवारको यहां मुलाकात की और अगले पांच वर्षों तक परिवार नियोजन एवं टीकाकरण जैसे प्रमुख स्वास्थ्य संकेतकों पर साथ काम करने के तरीकों पर चर्चा की.
फाउंडेशन ने मातृ, नवजात शिशुओं और बाल स्वास्थ्य, पोषण, संक्रामक रोग डायरिया, न्यूमोनिया और तपेदिक प्रबंधन एवं कालाजार उन्मूलन जैसे स्वास्थ्य क्षेत्रों पर साथ काम करने की प्रतिबद्धता की पेशकश की.इसके साथ ही स्वच्छता, डिजिटल वित्तीय समावेशन में तकनीकी सहायता के जरिये सहयोग बढ़ाने की प्रतिबद्धता जतायी.
गेट्स ने कहा, हम सरकार के साथ अगले पांच वर्षों तक काम करने को प्रतिबद्ध हैं ताकि जनस्वास्थ्य एवं विकास के उनके लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद की जा सके. इस बैठक में नीतीश के अलावा मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह, प्रधान सचिव :स्वास्थ्य: आरके महाजन, सामाजिक कल्याण सचिव एसएम राजू, मुख्यमंत्री के सचिव चंचल कुमार आदि उपस्थित थे.
गेट्स के साथ भारत में कार्यरत उनकी टीम के प्रमुख सदस्य भी थे. बिहार सरकार ने पूर्व में राज्य से पोलियो उन्मूलन में बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन के साथ सफलतापूर्वक साझेदारी की थी.
बैठक पर टिप्पणी करते हुए कुमार ने कहा कि स्वास्थ्य एवं पोषण बिहार की प्रगति के महत्वपूर्ण सूचक हैं. एक आधिकारिक बयान में कुमार के हवाले से कहा गया, राज्य सरकार न्यायोचित स्वास्थ्य एवं पोषण सेवाएं सुनिश्चित करने, स्वास्थ्य के क्षेत्र में वित्तपोषण बढ़ाने को प्रतिबद्ध है ताकि स्वास्थ्य एवं पोषण परिणामों में अधिक सुधार किया जा सके जिससे हम सभी के लिए एक महत्वपूर्ण बदलाव कर सकें.
उन्होंने कहा, हमें अपनी स्वास्थ्य प्रणाली मजबूत करने की जरुरत है ताकि हाशिये पर रहने वाले समुदायों को सार्वभौमिक स्वास्थ्य देखभाल सेवा मिल सके. हम बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन के साथ नजदीकी रुप से काम करना जारी रखेंगे ताकि स्वास्थ्य, पोषण और विकास के लक्ष्यों को हासिल कर सकें. कुमार ने कहा कि नवजात मृत्यु दर कम करने के राज्य के प्रयासों को बढ़ाने के लिए उनकी सरकार पीपीपी साझेदारी के तहत उच्च गुणवत्ता के निजी क्षेत्रों को शामिल करने के सुझाव के लिए तैयार है ताकि विशेष नवजात देखभाल इकाइयों के जरिये उच्च गुणवत्ता की नवजात देखभाल सुविधा प्रदान की जा सके.