सड़क परियोजनाओं के लिये भूमि अधिग्रहण को लेकर नीतीश ने गड़करी से पूछा सवाल

पटना : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज केंद्र से जानना चाहा कि उसके भूखंड की दर से चार गुणा राशि का भुगतान का निर्णय क्या पुराने भू-अधिग्रहण कानून या फिर जनवरी 2014 के नये भूमि अधिग्रहण कानून और मार्केट अथवा सर्किल रेट पर आधारित हैं. नीतीश ने आज नई दिल्ली में केंद्रीय परिवहन […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 15, 2016 10:26 PM

पटना : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज केंद्र से जानना चाहा कि उसके भूखंड की दर से चार गुणा राशि का भुगतान का निर्णय क्या पुराने भू-अधिग्रहण कानून या फिर जनवरी 2014 के नये भूमि अधिग्रहण कानून और मार्केट अथवा सर्किल रेट पर आधारित हैं. नीतीश ने आज नई दिल्ली में केंद्रीय परिवहन मंत्री नितीन गड़करी से मुलाकात कर उनसे इस आशय का एक पत्र सौंपते हुए कहा कि इसके कारण बिहार में कई सड़क परियोजनाएं भूमि अधिग्रहण नहीं हो पाने से शुरु नहीं हो पायी है अथवा बाधित हैं.

उन्होंने कहा कि हालांकि यह अभी भी स्पष्ट नहीं है कि मार्केट अथवा सर्किल रेट पर भुगतान किये जाने वाली मुआवजा की राशि पुराने भूमि अधिग्रहण कानून के 3 जी पर या नये भूमि अधिग्रहण कानून की धारा 24 पर आधारित है. नीतीश ने कहा कि एनएचएआई की पटना-बक्सर, फारबिसगंज-जोगबनी, पटना-डोभी, बिहारशरीफ-मोकामा, वाराणसी-औरंगाबाद और छपरा-मुजफ्फरपुर उच्च पथ परियोजना वर्ष 2010-12 की हैं, पर जमीन अनुपलब्धता के कारण ये या तो शुरू नहीं हुई अथवा बाधित हैं.

उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग अधिनियम के खंड 3 जी के तहत वर्ष 2010-12 में अधिसूचना जारी की गयी थीं, पर अधिकांश मामलों में किसानों को मुआवजा का भुगतान अबतक नहीं किया गया है और वे अब नये भूमि अधिग्रहण कानून के तहत चार गुणा मार्केट अथवा सर्किल रेट पर मुआवजे की मांग कर रहे हैं. नीतीश ने कहा कि बिहार सरकार द्वारा केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय के सर्कुलर के अनुसार मुआवजा का भुगतान किया जाता है. ऐसे में किसान किसी भी हालत में कम दर पर मुआवजा की राशि स्वीकार नहीं करेंगे. उन्होंने कहा कि ऐसे मामलों में विधि एवं न्याय मंत्रालय के विधिक मामलों के विभाग ने स्पष्ट रूप से कहा है कि तिथि एक जनवरी 2014 होगी, न कि अधिसूचना वाली तारीख होगी.

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