दो दिन पहले जहां दो को रौंदा था, वहीं डंपर ने दस माह के बच्चे की ली जान

हादसा. सपरिवार ससुराल जा रहा था जवान, डंपर ने मारी टक्कर, बेटे की मौत नंदलाल छपरा के समीप थम नहीं रहा है हादसों का दौर. पटना सिटी : बुधवार की सुबह बेलगाम बालू लदे हाइवा डंपर ट्रक ने नंदलाल छपरा के समीप एनएच पर बाइक में टक्कर मार दी. जिसमें बाइक चालक एसएसबी का जवान […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 2, 2016 6:18 AM
हादसा. सपरिवार ससुराल जा रहा था जवान, डंपर ने मारी टक्कर, बेटे की मौत
नंदलाल छपरा के समीप थम नहीं रहा है हादसों का दौर.
पटना सिटी : बुधवार की सुबह बेलगाम बालू लदे हाइवा डंपर ट्रक ने नंदलाल छपरा के समीप एनएच पर बाइक में टक्कर मार दी. जिसमें बाइक चालक एसएसबी का जवान रोशन कुमार, उनकी पत्नी रिंकी देवी व दस माह का बेटा लक्ष्य कुमार गंभीर रूप से जख्मी हो गये. जहां, उपचार के दरम्यान नवजात बच्चे की मौत हो गयी.
वहीं, महिला की स्थिति गंभीर बनी हुई है. रोशन को काफी चोटें आयी है, हालांकि वह खतरे से बाहर था. घटना से गुस्साये स्थानीय लोगों ने सड़क जाम कर हंगामा शुरू कर दिया. आक्रोशित लोगों ने पथराव करते हुए कई ट्रकों के शीशे भी फोड़ दिये. हालांकि, बाद में पुलिस ने सड़क पर पड़े पति-पत्नी व नवजात बच्चे को खेमनीचक स्थित निजी उपचार केंद्र भेजा. इधर घटना के बाद चालक डंपर को छोड़ कर निकल भागा. लोगों ने उसके डंपर में भी तोड़-फोड़ की.
लक्ष्य पहली बार जा रहा था नाना-नानी के घर : भोजपुर जिले के संदेश थाना क्षेत्र स्थित अभयपुर गांव निवासी एसएसबी जवान 31 वर्षीया रौशन कुमार छुट्टियों में घर आया हुआ था और वह अपनी पत्नी 26 वर्षीया रिंकी देवी के साथ बाइक से दीदारगंज थाने के फतेहपुर स्थित ससुराल जा रहे थे. रिंकी देवी की गोद में दस माह का पुत्र लक्ष्य कुमार भी था.
लक्ष्य भी पहली बार अपने नाना-नानी के घर जा रहा था. दंपती बाइक संख्या बीआर 01 सीभी/ 9188 से जा रहे थे, तभी बालू लदे हाइवा डंपर ट्रक ने बाइक में टक्कर मार दी. बाइक पर सवार रिंकी देवी व दस माह का पुत्र लक्ष्य नीचे गिर गये. इसके बाद महिला के हाथ पर डंपर का चक्का चढ़ गया. एसएसबी जवान भी सड़क पर गिर गया. जिससे उसे भी चोटें आयीं.
मां-बेटे को मृत समझ छोड़ दिया सड़क पर
दुर्घटना में जख्मी पति को लोगों ने समीप के निजी उपचार केंद्र में भरती करा दिया, जबकि खून से लथपथ मां-बेटा के बेहोश होने की स्थिति में मृत हुआ समझ कर सड़क पर ही लोगों ने छोड़ दिया. एसएसबी जवान की हालत ऐसी नहीं थी कि वह अपने परिवार को भी साथ में ले जाने की बात कह सके. हालांकि, बाद में अगमकुआं थाने की पुलिस पहुंची और जख्मी मां-बेटे को फोर्ड अस्पताल में भेजा. जहां आइसीयू में महिला का इलाज चल रहा है.
हालांकि वहां चिकित्सकों ने बच्चे को मृत घोषित कर दिया. यातायात थानाध्यक्ष फारूख हुसैन ने बताया कि इलाज के क्रम में नवजात बच्चे की मौत हो गयी.
दो घंटे तक सड़क रहा जाम
सुबह लगभग साढ़े आठ बजे हुए इस हादसे के बाद स्थानीय लोगों का गुस्सा फूट पड़ा. आक्रोशित लोगों ने लगभग दो घंटे तक सड़क जाम कर ट्रकों पर पथराव किया. इस दौरान आधा दर्जन ट्रकों के शीशे फोड़े गये. सड़क जाम की सूचना पर अगमकुआं थानाध्यक्ष, यातायात थानाध्यक्ष पुलिस बल और व्रज मोबाइल के साथ पहुंचे और हंगामा कर रहे लोगों को समझा-बुझा कर शांत कराया. इसके बाद जख्मी मां-बेटे को फोर्ड अस्पताल ले जाया गया. सुबह नौ बजे से सड़क पर उतरे लोगों को पुलिस की ओर से समझाने के बाद लगभग 11 बजे जाम हटावाया गया. इसके कारण बुधवार को न्यू बाइपास पर जाम की स्थिति बनी रही. थानाध्यक्ष फारूख हुसैन ने बताया कि ट्रक को पकड़ लिया गया है. हालांकि, ट्रक के चालक और खलासी वाहन छोड़ कर फरार हो गये है.
दस दिनों की छुट्टी में आया था घर
पटना सिटी. सीमा सुरक्षा बल के टेलीकॉम सेक्शन में अरूणाचल प्रदेश में कार्यरत रोशन दस दिनों की छुट्टी पर घर आया था, ताकि परिवारवालों से मिल सकें. पत्नी के आग्रह पर वह बाइक से ससुराल जा रहा था, तभी हादसा हो गया. रोशन ने बताया कि बेटे का जन्मदिन मनाने के लिए घर में तैयारी की गयी थी. उन्होंने भी बेटे के जन्मदिन के लिए कपड़े वगैरह खरीद लिये थे, ताकि दो माह बाद परिवार वाले जन्मदिन मना सकें. लेकिन, उसके असमय मौत ने झकझोर दिया है.
तीन दिनों में चार मौतें
न्यू बाइपास पर तीन दिन में चार की अभी तक मौत हो चुकी है. सोमवार को नंदलाल छपरा के पास दो छात्रों मुकुल आनंद और आदर्श सागर को वाहन ने कुचल दिया था, जिसके कारण दोनों की पर मौत हो गयी थी. मंगलवार को मजदूर सिकंदर यादव को न्यू बाइपास पर अज्ञात वाहन ने कुचल दिया और उसकी मौत हो गयी. बुधवार को फिर से नंदलाल छपरा के पास सड़क दुर्घटना हुआ और बच्चे की मौत हो गयी.
नंदलाल छपरा खतरनाक
अगमकुआं थाना क्षेत्र के नंदलाल छपरा एनएच का हिस्सा खतरनाक हो चुका है. ऐसा नहीं कि महज तीन दिनों के अंदर वहां दो हादसे हुए हैं. इससे पहले भी लगभग एक दर्जन से अधिक घटनाएं नंदलाल छपरा के समीप घट चुकी हैं.
नंदलाल छपरा के समीप एनएच पर चढ़ने के लिए भूमिगत रास्ता भी बना है, लेकिन वह भी कारगर नहीं हो रहा है. स्थिति यह है कि डेंजर जोन बन चुके नंदलाल छपरा पर वाहनों की रफ्तार का कहर कम थमेगा, कहा नहीं जा सकता है. इस मार्ग पर वाहन तेज गति से चलते हैं, जिन्हें रोकनेवाला कोई नहीं है. रोज गति सीमा मानक का उल्लंघन होता है.
अथमलगोला. थाना के गंजपर गांव में एनएच -31 पर बुधवार को बच्ची ने टैंकलॉरी ने रौंद दिया, जिससे घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गयी. घटना के बाद ग्रामीणों ने टैंकलॉरी का काफी दूर तक पीछा किया,लेकिनपकड़ा नहीं आया. जानकारी के अनुसार सुबह आठ बजे बाजार से अपनी मां के साथ घर के निकट टेंपो से उतर कर आठ वर्षीया सपना कुमारी सड़क पार कर रही थी कि काफी रफ्तार में आ रही टैंकलॉरी ने उसे रौंद डाल.
हादसे में उसकी मौत के बाद ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा और उन्होंने मुआवजे की मांग लेकर आधा घंटा तक राजमार्ग को जाम कर दिया. घटना की सूचना पर पहुंचे थानाध्यक्ष राजीव पटेल ने ग्रामीणों को समझाने का प्रयास किया, लेकिन लोग नहीं माने. इसके बाद उन्होंने बीडीओ रवि प्रकाश से बात की. बीडीओ के आदेश पर पीड़ित के परिजनों को मुख्यमंत्री पारिवारिक लाभ योजना के तहत 20 हजार की सहायता राशि मिलने के बाद लोगों ने जाम हटाया. इसके बाद पुलिस ने शव कोपोस्टमार्टम के लिए अनुमंडलीय अस्पताल, बाढ़ भेजा.

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