बिना सेंटर कोड के ही मूल्यांकन केंद्र पर भेजी गयी थीं उत्तर पुस्तिकाएं
बोर्ड के कर्मचारियों को नहीं दी गयी कॉपी पटना : इंटर की परीक्षा के लिए वीआर कॉलेज, कीरतपुर, वैशाली के छात्रों का परीक्षा केंद्र जीए इंटर स्कूल, हाजीपुर में बना. इस केंद्र पर परीक्षा भी हुई, लेकिन उत्तर पुस्तिकाओं में सेंटर कोड नहीं दिया गया. सेंटर कोड के बिना ही वीआर कॉलेज की उत्तर पुस्तिकाओं […]
बोर्ड के कर्मचारियों को नहीं दी गयी कॉपी
पटना : इंटर की परीक्षा के लिए वीआर कॉलेज, कीरतपुर, वैशाली के छात्रों का परीक्षा केंद्र जीए इंटर स्कूल, हाजीपुर में बना. इस केंद्र पर परीक्षा भी हुई, लेकिन उत्तर पुस्तिकाओं में सेंटर कोड नहीं दिया गया. सेंटर कोड के बिना ही वीआर कॉलेज की उत्तर पुस्तिकाओं को वहां से हटा लिया गया. जब बिहार विद्यालय परीक्षा समिति की ओर से कर्मचारियों की टीम परीक्षा केंद्र से उत्तर पुस्तिका लेने गयी, तो उसे बैरंग लौटना पड़ा था.
मालूम हो कि परीक्षा केंद्र पर से हर दिन की परीक्षा के बाद उत्तर पुस्तिकाओं को डीएम द्वारा बनाये गये स्ट्रांग रूम में रखा जाता है. परीक्षा समाप्त होने के बाद सेंटर वाइज उत्तर पुस्तिका की कोडिंग की जाती है, उसके बाद इंटर काउंसिल के कर्मचारी कोडिंग के अनुसार कॉपियों को मूल्यांकन केंद्र तक पहुंचाते हैं.
परीक्षा केंद्र बनाने की जिम्मेवारी डीएम की व मूल्यांकन केंद्र की जिम्मेवारी अध्यक्ष की
इंटर की परीक्षा के लिए परीक्षा केंद्र बनाने की जिम्मेवारी डीएम की होती है. वहीं उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन किस केंद्र पर किया जायेगा, इसका अधिकार अध्यक्ष के हाथ में होता है.
डीएम परीक्षा केंद्र का चयन करके उसे समिति के पास भेजते हैं. डीएम द्वारा भेजी गयी लिस्ट के अनुसार ही समिति द्वारा एडमिट कार्ड में परीक्षा केंद्र का नाम डाला जाता है. वहीं किस परीक्षा केंद्र का मूल्यांकन केंद्र कहां बनाया जायेगा, इसका फैसला खुद अध्यक्ष करते हैं.
हर दिन खुद लालकेश्वर जाते थे मूल्यांकन केंद्र
इंटर की परीक्षा पांच मार्च को समाप्त हुई और मूल्यांकन कार्य 19 मार्च से शुरू हुआ. इस बीच परीक्षा केंद्र जीए इंटर स्कूल, हाजीपुर से सभी उत्तर पुस्तिकाओं को पटना लाया गया. बालक हाइस्कूल, राजेंद्र नगर में उत्तर पुस्तिकाओं को मूल्यांकन के लिए रखा गया. इस मूल्यांकन केंद्र पर दरभंगा और मधुबनी की उत्तर पुस्तिका की भी जांच हो रही थी. मूल्यांकन समाप्त होने के बाद शाम छह बजे हर दिन खुद लालकेश्वर प्रसाद मूल्यांकन केंद्र पर आते थे. उनके यहां आने से सवाल उठना लाजिमी है.
1996 में जस्टिस वाधवा और जस्टिस बीएन अग्रवाल के जजमेंट के बाद से परीक्षा केंद्र तय करने की जिम्मेवारी डीएम को दी गयी
डीएम संबंधित डीइओ, अनुमंडल पदाधिकारी, एसपी आदि के साथ बैठक कर छात्रों व कमरे की संख्या के अनुसार तय करते है
परीक्षा केंद्र
डीएम परीक्षा केंद्र की जो लिस्ट बिहार बोर्ड को भेजते हैं, उसी के अनुसार तैयार किये जाते हैं एडमिट कार्ड