बिहार : व्हाट्सएप पर सेक्स रैकेट का खुलासा, छह धराये
पटना : पटना पुलिस ने होटल में चल रहे एक सेक्स रैकेट का भंडाफोड़ किया है. गांधी मैदान थाने के एक्जीबिशन रोड में न्यू मेधा पैलेस होटल में सेक्स रैकेट चलाया जा रहा था. इसका खुलासा उस समय हुआ जब पुलिस ने छापेमारी की़ मौके से एक दलाल रंजय कुमार जायसवाल (नारायण तल्ला, कोलकाता), सिक्यूरिटी […]
पटना : पटना पुलिस ने होटल में चल रहे एक सेक्स रैकेट का भंडाफोड़ किया है. गांधी मैदान थाने के एक्जीबिशन रोड में न्यू मेधा पैलेस होटल में सेक्स रैकेट चलाया जा रहा था. इसका खुलासा उस समय हुआ जब पुलिस ने छापेमारी की़
मौके से एक दलाल रंजय कुमार जायसवाल (नारायण तल्ला, कोलकाता), सिक्यूरिटी गार्ड नवल किशोर शर्मा (भगवानपुर, नौबतपुर), होटल के स्टाफ कुमेश कुमार (पटना), शुभम राज (योगीपुर, हिलसा, नालंदा), अनिल कुमार (चैनपुर, भेलदी, छपरा) व एनुल हक (इसुआपुर, छपरा) को गिरफ्तार किया गया है. हालांकि सेक्स रैकेट चलानेवाला होटल का संचालक आजाद पुलिस को चकमा देकर फरार हो गया. पुलिस ने मौके से कोलकाता की तीन युवतियों को मुक्त कराया है. पुलिस ने होटल से कंडोम, शिलाजीत व सिगरेट का पैकेट भी बरामद किया है.
बताया गया कि होटल का संचालक आजाद, दलाल रंजय कुमार जायसवाल की मदद से कोलकाता से युवतियों को नौकरी का प्रलोभन देकर पटना बुलाता था और फिर सेक्स रैकेट में ढकेल देता था. पुलिस ने ग्राहक बन कर पहले पूरे मामले का सत्यापन किया और फिर छापेमारी की.
इधर, गांधी मैदान के एक्जीबिशन रोड में मुक्त करायी गयी युवतियों की निशानदेही पर पुलिस की टीम ने रामकृष्णा नगर इलाके में छापेमारी की और वहां से तीन लोगों को आपत्तिजनक स्थिति में पकड़ लिया. इनमें विजय व अजीत शामिल हैं. दो युवतियों को मुक्त कराया गया.
हर ग्राहक से लेते थे दो हजार
बताया गया कि संचालक द्वारा एक ग्राहक से दो से तीन हजार रुपये लिये जाते थे. शिलाजीत व सिगरेट के लिए अलग से पैसे लिये जाते थे. रैकेट संचालक आजाद खुद 15 सौ रखता था, जबकि देह व्यापार में शामिल युवतियों को पांच सौ रुपये दिये जाते थे.
व्हाट्सएप से भेजा जाता था फोटो
पुलिस के प्राथमिक अनुसंधान में यह बात सामने आयी है कि यह सेक्स रैकेट हाइ प्रोफाइल था. व्हाट्सएप से ग्राहकों को लड़कियों का फोटो भेजा जाता था. अगर लड़की पसंद नहीं आती, तो फिर दूसरी लड़की का फोटो भेजा जाता और पसंद आने पर दो से लेकर तीन हजार की रकम ग्राहकों को चुकानी होती थी.
ग्राहकों व धंधे की गोपनीयता के लिए गार्ड की व्यवस्था थी कि ताकि कोई अन्य व्यक्ति इसकी टोह न ले सके. पूरी तरह सत्यापन के बाद ही ग्राहकों को वहां बुलाया जाता था. जांच में पता चला है कि ग्राहकों से अधिक पैसे की वसूली के लिए अवैध शराब की व्यवस्था भी होटल संचालक करता था. एक बोतल शराब के लिए 15 सौ से दो हजार रुपये वसूल किये जाते थे.