पटना : भाजपा के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने आज आरोप लगाया कि राज्य सरकार ने योजनाबद्ध तरीके से राजद के बाहुबली नेता मो0 शहाबुददीन को जेल से बाहर निकालने का रास्ता प्रशस्त कर दिया है. सुशील ने आज यहां एक विज्ञप्ति जारी कर आरोप लगाया कि राजीव रोशन हत्याकांड में जब अदालत ने गत 3 फरवरी को छह महीने के भीतर ट्रायल पूरा करने का आदेश दिया तो एक सोची-समझी रणनीति के तहत राज्य सरकार ने ट्रायल नहीं होने दिया ताकि शहाबुद्दीन को जमानत मिल जाए.
बिहार सरकार बाहर निकालने में शामिल
उन्होंने पूछा कि शराबबंदी के खिलाफ मुकदमें की पैरवी के लिए दिल्ली से उच्चतम न्यायालय के वरीय अधिवक्ताओं को बुलाने वाली सरकार ने शहाबुद्दीन के मामले को महाधिवक्ता कीजगह कनीय विधि अधिकारियों के जिम्में क्यों सौंप दिया था. बिहार विधान परिषद में प्रतिपक्ष के नेता सुशील ने पूछा कि क्या अब ‘जंगलराज’ के प्रतीक रहे मो0 शहाबुद्दीन के साथ राजद प्रमुख लालू प्रसाद और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार मंच साझा करते दिखाई पडेंगे. उन्होंने मोकामा से निर्दलीय बाहुबली विधायक अनन्त सिंह का जिक्र करते हुए क्या उनकी ही तरह मो0 शहाबुद्दीन पर भी सरकार क्राइम कंट्रोल एक्ट :सीसीए: लगाने का निर्णय लेगी.
अनंत सिंह पर सीसीए तो शहाबुद्दीन पर क्यों नहीं ?
सुशील ने पूछा कि अगर अनन्त सिंह से सामान्य कानून व्यवस्था और लोक जीवन को खतरा बता कर उन पर सीसीए लगाया जा सकता है तो पूरे बिहार में दशकों से दहशत के पर्याय रहे मो0 शहाबुद्दीन को जेल से निकालने के लिए सरकार इतनी उतावली क्यों है. उन्होंने आरोप लगाया कि क्या यह सच नहीं है कि जेल में जाकर सरकार के मंत्री के मिलने खुले आम दरबार लगाने वाले आतंक के पर्याय शहाबुद्दीन के दहशत के कारण ही पत्रकार राजदेव हत्याकांड में पुलिस उनसे पूछताछ की हिम्मत नहीं जुटा पाई. सुशील ने आरोप लगाया कि जिस तरह से जेल में रह कर मो0 शहाबुद्दीन ने सीवान सहित पूरे बिहार में अपना आतंक कायम कर रखा है उनके जेल से बाहर आने की सूचना मात्र से लोगों में डर पैदा हो गया है.