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स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के लिए 15 बैंकों के साथ हुआ करार, ”ऑनलाइन पोर्टल” और ”मोबाइल एप” के जरिये आवेदन

कार्ड के लिए दिये जाने वाले ऋण की 100 फीसदी गारंटी राज्य सरकार देगी. अगर पढ़ाई अवधि के बाद छात्र राशि नहीं लौटाते हैं तो सरकार बैंक को पैसा दे देगी. पटना : बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के लिए राज्य सरकार ने 15 बैंकों के साथ गुरुवार को एमओयू साइन किया. मुख्य सचिव अंजनी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 30, 2016 6:12 AM
कार्ड के लिए दिये जाने वाले ऋण की 100 फीसदी गारंटी राज्य सरकार देगी. अगर पढ़ाई अवधि के बाद छात्र राशि नहीं लौटाते हैं तो सरकार बैंक को पैसा दे देगी.
पटना : बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के लिए राज्य सरकार ने 15 बैंकों के साथ गुरुवार को एमओयू साइन किया. मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह के नेतृत्व में शिक्षा विभाग ने वित्त विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में बैंकों से एमओयू साइन किया. दो अक्तूबर से शुरू होने वाले स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना में 12वीं पास छात्र-छात्राओं को उच्च शिक्षा के लिए चार लाख रुपये तक का शिक्षा ऋण दिया जायेगा. कुछ बैंकों ने अभी सरकार से एमओयू नहीं किया है.
उम्मीद है कि अगले दो-तीन दिन में वे भी एमओयू साइन कर लेंगे. एमओयू साइन करने के बाद शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव आर. के. महाजन ने बताया कि जिले का अग्रणी बैंक इस योजना का नोडल बैंक के रूप में काम करेगा. यह बैंक सभी बैंकों से शिक्षा ऋण से संबंधित सूचना लेगा और समीक्षा कर डिफॉल्ट की दिशा में सहायता राशि की सूचना शिक्षा विभाग को देगा. इसी के आलोक में राशि संबंधित बैंकों के लिए अग्रणी बैंक के माध्यम से जारी की जायेगी. उन्होंने बताया कि बिहार के वैसे निवासी छात्र जो बिहार से 12वीं में पास की हो और उच्च शिक्षा के ऋण चाहते हैं तो उन्हें संबंधित बैंकों से शिक्षा ऋण उपलब्ध कराया जायेगा.
बिहार बोर्ड से इंटरमीडिएट, सीबीएसइ व उसके समान अन्य बोर्ड से मान्यता प्राप्त संस्थान से 12वीं पास, बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड उप शास्त्री, बिहार मदरसा बोर्ड से मान्यता प्राप्त मौलवी में पास छात्र इसमें लाभांवित हो सकेंगे. शिक्षा विभाग ने स्पष्ट किया कि स्टूडेंट क्रेडिट बैंक उससे राशि की वसूली कर राज्य सरकार के खाते में जमा करायेगी. एमओयू के समय वित्त विभाग के सचिव राहुल सिंह, शिक्षा विभाग के अपर सचिव के. सेंथिल कुमार, सचिव जितेंद्र श्रीवास्तव, आधारभूत संरचना निगम से प्रबंध निदेशक संजीवन सिन्हा, प्राथमिक शिक्षा निदेशक एम. रामचंद्रुडू , उच्च शिक्षा निदेशक प्रो. खालिद मिर्जा.
इन बैंकों से हुआ एमओयू
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, एचडीएफसी बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा, इंडियन बैंक, इलाहाबाद बैंक, मध्य बिहार ग्रामीण बैंक, आइडीबीआइ बैंक, यूको बैंक, एक्सीस बैंक, आइसीआइसीआइ बैंक, ओरियंटल बैंक, पंजाब नेशनल बैंक बिहार ग्रामीण बैंक, स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर जयपुर और यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया.
ऑनलाइन या मोबाइल एप से होगा स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन
राज्य में दो अक्तूबर से बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना लागू होने जा रही है. इस योजना का शुभारंभ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार करेंगे. इस योजना के तहत 12वीं पास छात्र-छात्राओं को आगे की पढ़ाई करने के लिए चार लाख तक का शिक्षा ऋण मिलेगा. इसके लिए शिक्षा विभाग ने गाइडलाइन जारी कर दिया है. स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के लिए छात्र-छात्राएं ‘ऑनलाइन पोर्टल’ और ‘मोबाइल एप’ के जरिये आवेदन कर सकेंगे. अभ्यर्थी ऑनलाइन पोर्टल और मोबाइल एप में मांगी जानी वाले सूचना भरेंगे, जिसके बाद उन्हें मोबाइल नंबर व इ-मेल आइडी पर ‘वन टाइम पासवर्ड’ मिलेगा.
इस पासवर्ड को पोर्टल में डालने पर आवेदन पत्र खुलेगा. इसे भर कर समिट करने पर एक और आवेदन पत्र खुलेगा, जिसमें छात्र-छात्राओं को तीन विकल्पों में से एक स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना का आवेदन भरना होगा. इसे समिट करने के बाद आवेदक को रजिस्ट्रेशन संख्या उनके मोबाइल व इ-मेल पर आ जायेगी. ऑनलाइन आवेदन करते समय किसी सर्टिफिकेट की अन्य कॉपी नहीं देनी होगी. जब उन्हें बुलाया जायेगा तो सभी सर्टिफिकेट की मूल व फोटो कॉपी के साथ आना होगा. इसके साथ ही उन्हें उच्च शिक्षा संस्थान में नामांकन संबंधी पत्र, लगने वाली फीस, आवासीय प्रमाण पत्र और 12वीं पास का सर्टिफिकेट लाना होगा. शिक्षा विभाग की ओर से जारी गाइडलाइन के अनुसार बैंकों में जिस प्रकार टोकन सिस्टम से काम होता है, उसी प्रकार जिले के निबंधन व परामर्श केंद्र में होगा.
इन सभी छात्र-छात्राओं को टोकन दिया जायेगा और डिसप्ले में टोकन नंबर आने के बाद उनके सर्टिफिकेट की मूल प्रति को स्कैन किया जायेगा और आवेदन समेत सर्टिफिकेट की फोटो कॉपी ली जायेगी. स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के लिए आधार नंबर व पैन नंबर रहना जरूरी है. अगर किसी छात्र का आधार नंबर नहीं है तो वहीं उसका आधार कार्ड भी बनवाया जायेगा.
एक महीने में मिलेगा शिक्षा ऋण
आवेदन व सर्टिफिकेट जमा करने के बाद उसकी जांच शैक्षणिक संस्था, पाठ्यक्रम की जांच की जायेगी और दो सप्ताह में रिपोर्ट जमा करना होगा. इसके बाद संबंधित बैंक जहां से शिक्षा ऋण दिलाना है वहां इसकी सॉफ्ट व हार्ड कॉपी देनी होगी. यह काम शिक्षा विभाग की ओर से लगाये गये नोडल पदाधिकारी करेंगे. बैंकों को भी निबंधन व परामर्श केंद्र पोर्टल का यूजर नेम और पासवर्ड उपलब्ध करायेगा. 15 दिनों के अंदर इन का निबटारा कर दिया जायेगा. छात्र-छात्राओं के आवेदन की स्वीकृति और कारण सहित अस्वीकृति की जानकारी आवेदकों को एसएमएस के जरिये दी जायेगी. शिक्षा ऋण स्वीकृत होने के बाद 15 दिन के अंदर उनके बैंक डाक्यूमेंटेशन का काम पूरा करेंगे और इसकी सूचना निबंधन व परामर्श केंद्र को देंगे. इसके बाद केंद्र छात्र-छात्राओं को सूचना देगा और निश्चित तिथि तय कर शिक्षा ऋण स्वीकृति का पत्र और स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड जारी किया जायेगा.

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