बिहार में 88 हजार से अधिक एड्स रोगी, सरकारी अस्पतालों में मुफ्त मिल रही 635 प्रकार की दवाएं
AIDS Patients in Bihar: मंगल पांडेय ने कहा कि बिहार सरकार प्रति वर्ष एड्स पीड़ित परिवारों को सहयोग के लिए 130 करोड़ की राशि खर्च करती है, ताकि उन्हें उचित जीवन शैली मिल सके. एचआईवी या एड्स की रोकथाम के लिए लगातार बेहतर कार्य किए जा रहे हैं.
AIDS Patients in Bihar: पटना. बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा है कि देश में कुल 17.5 लाख एड्स संक्रमित मरीज हैं. बिहार में करीब 88 हजार एचआईवी संक्रमितों की पहचान हुई है. बिहार में 31 एआरटी केन्द्रों के माध्यम से इनका मुफ्त उपचार किया जा रहा है. मंगल पांडेय ने कहा कि बिहार सरकार प्रति वर्ष एड्स पीड़ित परिवारों को सहयोग के लिए 130 करोड़ की राशि खर्च करती है, ताकि उन्हें उचित जीवन शैली मिल सके. एचआईवी या एड्स की रोकथाम के लिए लगातार बेहतर कार्य किए जा रहे हैं.
63 हजार को सहायता राशि, 15 हजार को पेंशन
बिहार के स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की तरफ से लगभग 63 हजार एचआईवी संक्रमित व्यक्तियों को बिहार शताब्दी एड्स पीड़ित कल्याण योजना के तहत 1500 रुपए प्रतिमाह सहायता राशि दी जा रही है. साथ ही 15 हजार एचआईवी संक्रमित एवं प्रभावित बच्चों की परवरिश योजना के अंतर्गत 1000 रुपये प्रतिमाह सहायता राशि प्रदान की जा रही है. इसके अलावा बिहार के एचआईवी संक्रमित युवाओं को बिहार कौशल विकास मिशन, श्रम संसाधन विभाग की तरफ से मुफ्त कौशल
प्रशिक्षण दिया जा रहा है.
मुफ्त मिल रही हैं 635 प्रकार की दवाएं
पटना में आयोजित एक कार्यक्रम में मंल पांडेय ने कहा कि अब एड्स रोगियों को दवा सामान्य अस्पतालों में भी मुफ्त मिल रही है. आवश्यक औषधि की सूची (ईडीएल) में एड्स रोग और अवसरवादी संक्रमण के उपचार की 23 औषधियों को शामिल कर लिया गया है. आवश्यक दवाओं की सूची में कुल दवाओं की संख्या बढ़कर अब 635 हो गई है. इसके पहले आवश्यक दवाओं की सूची में 612 दवाएं शामिल थीं, अब सरकारी अस्पतालों में 635 प्रकार की दवाएं मुफ्त मिल रही हैं. सरकार इस संक्रमण को कम करने का हर संभव प्रयास कर रही है. युवाओं में जागरुकता लाने के लिए सरकार के स्तर पर कई कार्यक्रम चल रहे हैं.