सातवां वेतनमान : नियोजित शिक्षक और संविदा कर्मियों को नहीं मिलेगा लाभ

पटना : राज्य के सात लाख से अधिक राज्यकर्मियों व पेंशनधारियों को सातवें वेतनमान का लाभ दिलाने के लिए बनी वेतन कमेटी मार्च तक अपनी रिपोर्ट सौंप देगी. इसके बाद राज्य सरकार के स्तर पर इसे लागू करने का फैसला लिया जायेगा. नियोजित शिक्षकों या संविदा पर नियुक्त कर्मियों को इसका लाभ नहीं मिलेगा. पूर्व […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 7, 2017 7:57 AM
पटना : राज्य के सात लाख से अधिक राज्यकर्मियों व पेंशनधारियों को सातवें वेतनमान का लाभ दिलाने के लिए बनी वेतन कमेटी मार्च तक अपनी रिपोर्ट सौंप देगी. इसके बाद राज्य सरकार के स्तर पर इसे लागू करने का फैसला लिया जायेगा. नियोजित शिक्षकों या संविदा पर नियुक्त कर्मियों को इसका लाभ नहीं मिलेगा. पूर्व मुख्य सचिव जीएस कंग की अध्यक्षतावाली इस कमेटी के सदस्य वित्त सचिव(व्यय) राहुल सिंह ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस संबंध में पूछे जाने पर यह जानकारी दी.
राज्य कैबिनेट ने पिछले साल 21 दिसंबर को वेतन कमेटी को मंजूरी दी थी. केंद्र सरकार पहले सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू कर चुकी है. केंद्र के तर्ज बिहार सरकार भी अपने कर्मचारियों को वेतन कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर सातवें वेतनमान का लाभ देगी. इससे राज्य के खजाने पर 10-11 हजार करोड़ अतिरिक्त बोझ पड़ेगा. वित्त सचिव (व्यय) राहुल सिंह ने बताया कि अगले सप्ताह वेतन कमेटी गठित होने की अधिसूचना जारी हो जायेगी. 20 जनवरी तक कमेटी कर्मचारी संघों और पेंशनभोगियों से सुझाव और दावा-आपत्ति लेगी. फरवरी के दूसरे सप्ताह में इस पर सुनवाई होगी. कमेटी मार्च तक अपनी रिपोर्ट दे देगी. कमेटी के कामकाज लिए सरकार ने विकास भवन (नया सचिवालय) में जगह उपलब्ध करा दी है.
केंद्र और राज्य के कई पदों और वेतनमान में काफी अंतर
राज्य सरकार ने इस बार फिटमेंट कमेटी की जगह वेतन कमेटी का गठन किया गया है. आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि केंद्र के अनुरूप या उनके समानुपात में पदों के स्टैंडर्ड या कैटोगराइजेशन की जरूरत इस बार नहीं पड़ेगी. राज्य में केंद्रीय पदों के अनुरूप पदों का समानुपातिक सृजन 1975 में गठित की गयी फिटमेंट कमेटी में कर दिया गया था. इसी के आधार पर इस बार भी पद के अनुसार वेतन की समानुपातिक रूप से बढ़ोतरी कर दी जायेगी. यह काम वेतन कमेटी के जरिये ही हो जायेगा. केंद्र और राज्य के कई पदों और वेतनमान में काफी अंतर है और कई पद ऐसे हैं, जो सिर्फ राज्य में ही हैं. वेतन कमेटी समीक्षा करके सभी पदों के लिए नये वेतनमान का निर्धारण करेगी. राज्य में सर्विस और कैडर पदों को मिला कर इनकी संख्या करीब 45 है.
20% तक की हो सकती है बढ़ोतरी
राज्य सरकार के कर्मचारियों को उनके मूल वेतन में करीब 14%, एचआरए में पांच प्रतिशत समेत अन्य भत्तों को मिला कर कुल 20% के आसपास वेतन बढ़ोतरी का लाभ हो सकता है. वित्त विभाग के आकलन के अनुसार, यह बढ़ोतरी 20 से 21% के बीच ही रहेगी. इसका सीधा लाभ राज्य सरकार के करीब तीन लाख 60 हजार कर्मचारियों और चार लाख 10 हजार पेंशनधारकों को होगा.

Next Article

Exit mobile version