ध्यान रहे, बिगड़े न शहर की छवि
स्वच्छता सर्वेक्षण में नगर निगम की टीम को तैयार रहने का निर्देश सफाई निरीक्षकों का आयुक्त ने लगाया क्लास पटना : देखिए, केंद्र की स्वच्छता सर्वेक्षण की टीम जहां भी जाये, नगर निगम की छवि खराब नहीं होनी चाहिए. प्रकाश पर्व में हम लोगों ने कर के दिखाया है, ये हमारी अंतिम परीक्षा है. शहर […]
स्वच्छता सर्वेक्षण में नगर निगम की टीम को तैयार रहने का निर्देश
सफाई निरीक्षकों का आयुक्त ने लगाया क्लास
पटना : देखिए, केंद्र की स्वच्छता सर्वेक्षण की टीम जहां भी जाये, नगर निगम की छवि खराब नहीं होनी चाहिए. प्रकाश पर्व में हम लोगों ने कर के दिखाया है, ये हमारी अंतिम परीक्षा है. शहर की सफाई में अब किसी तरह की चूक नहीं होनी चाहिए. मंगलवार को नगर आयुक्त अभिषेक सिंह ने नगर निगम के कार्यपालक पदाधिकारियों व सफाई निरीक्षकों की बैठक बुलायी थी. बांकीपुर अंचल कार्यालय में लगभग डेढ़ घंटे तक चली बैठक में स्वच्छता सर्वेक्षण 2017 को लेकर हर तरह से पूरी तैयारी रखने का निर्देश दिया गया. नगर आयुक्त ने कहा कि टीम सड़क सफाई, डस्टबीन से कचरा उठाव की स्थिति, सेकेंड्री डंपिंग यार्ड से लेकर मुख्य डंपिंग यार्ड, उसकी वस्तु स्थिति व आम जनता की राय पर पटना शहर की सफाई में हुई रेटिंग के लिए नंबर तय करेगी.
वाहनों में काम करे जीपीएस, समय पर उठे कचरा : बैठक में नगर आयुक्त ने कहा कि निगम की ओर से कचरा उठाव के लिये जितने भी वाहन है, उनमें जीपीएस लगा होना चाहिए.
वहीं, जिन वाहनों में पहले से जीपीएस लगा है, वो ठीक तरीके से काम करना चाहिए. इसके अलावे नगर निगम सभी जगहों पर लगभग डस्टबीन रख चुका है, जिन स्थानों पर बाकी है वहां के लिए डस्टबीन रखने के लिए अंचल कार्यालय में डस्टबीन उपलब्ध है. नगर आयुक्त ने कहा कि शहरी क्षेत्रों के मार्केट में प्रत्येक 500 मीटर पर डस्टबीन लगाये जाये. किसी भी परिस्थिति में दस बजे तक कचरा का उठाव हो जाना चाहिए. कचरा उठानेवाले वाहन ढके होने चाहिये.
स्लम बस्तियों की सफाई के लिए चलाया जायेगा स्पेशल ड्राइव : बैठक में नगर आयुक्त का निर्देश था कि शहर के तीन-चार जो भी स्लम बस्ती है, उनकी सफाई के लिए नगर निगम स्पेशल ड्राइव चलायेगा. इसके लिए अतिरिक्त मैन पावर भी रखे जा सकते हैं. आयुक्त ने निर्देश दिया कि प्रकाश पर्व के दौरान जिन जगहों पर अस्थायी यूरिनल, शौचालय व स्थायी शौचालय और प्याऊ लगाये गये हैं. नगर निगम की ओर से वहां प्रतिदिन सफाई होनी चाहिए. इसके अलावे शहर के सेकेंड्री कचरा प्वाइंट पर जीरो लेवल कचरा व रामाचक बैरिया में सारा सिस्टम सही तरीके से काम करना चाहिए.
बीते वर्ष 2014-15 में स्वच्छता नीति 2008 के तहत देश के 476 शहरों का सर्वे किया गया था. इस सर्वे में पटना की स्थिति काफी खराब रही थी. इसमें पटना को 429वां स्थान मिला था. जबकि, आसपास की राजधानी लखनऊ 220 व रांची 223वें स्थान पर थी. इसके बाद स्वच्छता सर्वेक्षण में शहर के 73 शहरों का सर्वे किया गया. इसमें भी अपनी राजधानी की स्थिति काफी खराब रही. शहर को टॉप चार गंदे शहरों में रखा गया. पटना का स्थान 69वां रहा.
2000 अंक का है सर्वेक्षण :
यह सर्वेक्षण देश के कुल 500 शहरों में होने हैं. इस सर्वेक्षण में कुल 2000 अंकों में से 900 अंक डाक्यूमेंटेशन के, 600 अंक नागरिकों की भागीदारी और 500 अंक सर्वे एजेंसी की ओर से दिये जायेंगे. उन्होंने बताया इस सर्वे में डोर-टू-डोर कलेक्शन आॅफ गारबेज, सफाई और कूड़ा को डंपिंग स्थल तक पहुंचाने को 40 प्रतिशत, कूड़े के निस्तारण को 20 प्रतिशत, खुले क्षेत्र को शौच मुक्त करने के लिए किये गये कार्य के लिए 30 प्रतिशत और अन्य बातों के लिए 10 प्रतिशत की वरीयता दी जायेगी.
पटना. स्मार्ट सिटी की राह में केंद्र सरकार का स्वच्छता सर्वेक्षण पहली परीक्षा है. देश में कुल 500 शहरों का सर्वेक्षण होना है. सर्वेक्षण उन शहरों के लिए महत्वपूर्ण है, जिनका चयन स्मार्ट सिटी की तीसरी लिस्ट में होने की पूरी संभावना बनी है. पटना की स्थिति भी ऐसी ही है. पिछली बार सर्वेक्षण में मात्र 76 शहर थे. स्मार्ट सिटी के नोडल अधिकारी शीर्षत कपिल अशोक बताते हैं कि स्मार्ट सिटी का पहला मतलब क्लीन सिटी से है. सर्वेक्षण भी सफाई को लेकर किया जा रहा है. इसलिए दोनों योजनाओं का कोरिलेशन है.
रेटिंग के आधार पर बदल सकते हैं स्मार्ट सिटी के प्रोजेक्ट : स्वच्छता सर्वेक्षण में पटना की रेटिंग के आधार पर स्मार्ट सिटी के प्रोजेक्ट में बदलाव हो सकते हैं. कपिल ने कहा कि स्मार्ट सिटी में आम लोगों के ओपिनियन के आधार पर ठोस कचरा प्रबंधन को लिया गया है. पैन सिटी में भी इसका पार्ट लिया गया है. अगर सर्वेक्षण में रेटिंग बेहतर आती है, तो नगर निगम ठोस कचरा प्रबंधन के निवेश को कम करे, अन्य इंफ्रास्ट्रक्चर विकास पर निवेश बढ़ेंगे. वहीं, रेटिंग अधिक आती है, तो ठोस कचरा प्रबंधन पर निवेश बढ़ेगा. चुनाव से पहले सर्वेक्षण रिपोर्ट आने से शहर के स्मार्ट सिटी के चयन को लेकर स्थिति स्पष्ट हो जायेगी.
अाप भी दीजिए अपनी राय : स्वच्छता सर्वेक्षण 2017 में अपने शहर की रेटिंग बढ़ाने में आप भी सहयोग कर सकते हैं. इसके लिए नगर निगम ने टॉल फ्री नंबर 1969 जारी किया है. इस पर कॉल कर शहर का कोई भी व्यक्ति शहर की सफाई से जुड़ा फीडबैक दे सकता है. इसके आधार पर भी मार्किंग मिलेगी.