पटना : राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव ने अपने परिवार के सदस्यों द्वारा गलत ढंग से जमीन लिखवा लेने के वरिष्ठ भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी के आरोप को रविवार को खारिज करते हुए कहा कि वह उनकी बातों का नोटिस नहीं लेते. बिहार विधान परिषद में प्रतिपक्ष के नेता सुशील कुमार मोदी लगातार लालू और उनके परिवार के सदस्यों पर नामभर की कंपनियों के जरिए दूसरों की जमीन अपने नाम करवा लेने के आरोप लगा रहे हैं.
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आरोपों की जद में पटना के पॉश इलाके सगुना मोड के पास दो एकड़ के भूखंड पर बिहार का सबसे बड़ा निर्माणाधीन मॉल भी शामिल है. अपने बड़े पुत्र और बिहार के स्वास्थ्य, वन एवं पर्यावरण मंत्री तेजप्रताप यादव के 28वें जन्मदिन के अवसर पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए लालू ने कहा कि सुशील मोदी को बिहार भाजपा में किनारे कर दिया गया है. अब वह सीन से बाहर हैं और मेरी छवि धूमिल करने के लिए जनता के बीच भ्रम पैदा करते रहते हैं.
लालू ने सुशील को ‘मुकदमेबाज’ की संज्ञा देते हुए कहा कि उनकी आदत दूसरों का चरित्रहनन करना तथा मुकदमा करना है. उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता मनोज झा ने हाल ही में बिंदुवार जवाब दिया है और अब उनकी घिग्घी बंधी हुई है और बोलती बंद हो गयी है.
वहीं सुशील ने आज फिर लालू पर अपना प्रहार जारी रखते हुए आरोप लगाया कि रेलवे के रांची और पुरी के दो होटलों के एवज में हर्ष कोचर से बेनामी लिखवायी गयी करोड़ों रुपये की दो एकड़ जमीन पर लालू प्रसाद के बिहार के सबसे बड़ा मॉल का निर्माण पिछले एक साल से राज्य पर्यावरण प्रभाव आकलन प्राधिकार की अनुमति लिए बिना कराया जा रहा है. यह पर्यावरण संरक्षण अधिनियम 1986 के प्रावधानों के उल्लंघन है.
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भाजपा के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी जिन्होंने इस संबंध में प्राधिकार के अध्यक्ष को पत्र लिखकर अविलंब निर्माण कार्य रकवाने तथा आपराधिक मामला दर्ज कर कार्रवाई की मांग की है, ने कहा कि प्रावधान के अनुसार 20 हजार वर्ग मीटर से अधिक का कोई निर्माण कार्य प्राधिकार की अनुमति के बिना नहीं कराया जा सकता है. लेकिन जून 2016 से लालू प्रसाद की उस जमीन पर राजद के सुरसंड के विधायक अबु दोजाना की कंपनी नियमों का उल्लंघन कर निर्माण कार्य करा रही है.
एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर सुशील ने कहा है कि इसके पहले प्राधिकार की अनुमति नहीं लिए जाने के कारण ही आईजीआईएमएस पावापुरी मेडिकल कॉलेज भवन और गया में प्रशासनिक प्रशिक्षण संस्थान के निर्माण के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था. उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार गिरने के डर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार मॉल का निर्माण कार्य बंद कराने की हिम्मत नहीं दिखा पा रहे हैं.