2978 पैक्सों में खुला कृषि यंत्र बैंक, खेती के लिए भाड़े पर मिलेंगे यंत्र
सहकारिता मंत्री ने नाबार्ड, एनसीडीसी के अधिकारियों के साथ विभाग की समीक्षा की
– सहकारिता मंत्री ने नाबार्ड, एनसीडीसी के अधिकारियों के साथ विभाग की समीक्षा की
संवाददाता, पटनासहकारिता मंत्री डॉ प्रेम कुमार ने बुधवार को नाबार्ड और एनसीडीसी के प्रतिनिधियों के साथ राज्य में सहकारी समितियों के विकास को लेकर बैठक की. मंत्री ने मुख्यमंत्री हरित कृषि संयंत्र योजना के कालावधि विस्तार करने की संभावनाओं पर विचार करने की बात कही. राज्य के शेष 5500 पैक्सों को इस योजना से जोड़ने की संभावनाओं पर भी कार्य करने की बात कही. इस योजना के तहत पैक्सों में कृषि बैंक स्थापित किया जाना है. कुल 2978 पैक्सों में कृषि बैंक स्थापित किये जा चुके हैं. इसके तहत 5497 कृषि यंत्रों की आपूर्ति की गयी है. इस पर कुल 341.46 करोड़ रुपये खर्च किये गये हैं. इन कृषि बैंकों से भाड़े पर यंत्र मिलेंगे. राज्य की स्वावलंबी सहकारी समितियों के विकास के लिए नाबार्ड की एग्रीकल्चर इन्फ्रास्ट्रक्चर फंड तथा अन्य योजनाओं से लाभ पहुंचाने का निर्देश दिया गया. एनसीडीसी के प्रतिनिधि की ओर से बताया गया राज्य में 100 एफपीओ बनाये जाने थे, इनमें 92 बना लिये गये हैं.
इस दौरान मंत्री ने इन संस्थानों को बिहार राज्य की सहकारी समितियों के विकास के लिए आवंटित बजटीय उपबंधों की समीक्षा की. पैक्सों को बहुउद्देश्यीय बनाने का मंत्री ने निर्देश दिया. दुग्ध उत्पादक समितियों को सहकारी बैंकों से संबद्ध करने के लिए राज्य स्तरीय कार्यशाला का आयोजन करने की बात कही. बीते तीन वर्षों में राज्य की सहकारी समितियों के उत्थान के लिए खर्च की गयी राशि का ब्योरा मांगा. मौके पर सहकारिता सचिव धर्मेंद्र सिंह, महाप्रबंधक नाबार्ड बी सिन्हा, अपर निबंधक प्रभात कुमा, उपनिदेशक एनसीडीसी श्वेता कुजूर, ललन शर्मा संयुक्त निबंधक, कामेश्वर ठाकुर, संयुक्त निबंधक आदि मौजूद थे.
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