चीन और पाकिस्तान की भाषा बोल रही कांग्रेस, 1962 का पाप धोने के लिए भारतीय सेना पर उठा रही सवाल : सुशील मोदी

बिहार के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता ने सोमवार को औरंगाबाद जिला अंतर्गत गोह विधानसभा क्षेत्र के लिए आयोजित वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस व उसके नेता चीन और पाकिस्तान की भाषा बोल रहे हैं. कांग्रेस नेताओं ने बोफोर्स का पाप धोने के लिए राफेल का मुद्दा उठाया, जिसमें वे बुरी तरह विफल रहे. अब 1962 की करारी हार का पाप धोने के लिए सेना पर सवाल ऐसे समय उठा रहे हैं जब सेना देश के दुश्मनों से लड़ रही है.

By Samir Kumar | June 22, 2020 7:52 PM

पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता ने सोमवार को औरंगाबाद जिला अंतर्गत गोह विधानसभा क्षेत्र के लिए आयोजित वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस व उसके नेता चीन और पाकिस्तान की भाषा बोल रहे हैं. कांग्रेस नेताओं ने बोफोर्स का पाप धोने के लिए राफेल का मुद्दा उठाया, जिसमें वे बुरी तरह विफल रहे. अब 1962 की करारी हार का पाप धोने के लिए सेना पर सवाल ऐसे समय उठा रहे हैं जब सेना देश के दुश्मनों से लड़ रही है.

सुशील मोदी ने कहा कि चीन से समझौता करने वाले आज हम से सवाल पूछ रहे हैं. प्रधानमंत्री चीन के वुहान जरूर गये, परंतु उन्होंने चीन की ‘बेल्ट एंड रोड’ इन्सिएटिव को स्वीकार नहीं किया. महाबलीपुरम में वे चीनी राष्ट्रपति से जरूर मिले, मगर डोकलाम से चीन को पीछे हटने के लिए बाध्य भी किया. चीन के साथ 18 शिखर बैठकों के बावजूद भारत के हित में नहीं रहने के कारण क्षेत्रीय व्यापारिक आर्थिक साझेदारी के मसौदे पर हस्ताक्षर करने से इनकार कर दिया.

उपमुख्यमंत्री ने कांग्रेस पर हमला तेज करते हुए आगे कहा कि डॉ. मनमोहन सिंह के प्रधानमंत्रित्व काल 2010-13 के बीच 600 से ज्यादा बार चीनी सेना ने घुसपैठ किया और भारत को देपसांग, चुमार, पेनगोंग में 640 वर्ग किमी जमीन गंवा देनी पड़ी. इस बार चीन ने गलवान घाटी में सरहद पार करने का नहीं, बल्कि लक्ष्मण रेखा लांधने का प्रयास किया तो भारत ने उसका माकूल जवाब दिया है.

सुशील मोदी ने कहा कि नवाज शरीफ के घर पहुंच कर दोस्ती का हाथ बढ़ाने वाले प्रधानमंत्री सर्जिकल स्ट्राइक कर सबक सिखाना भी जानते हैं. कश्मीर में अनुच्छेद 370 को हटा कर जहां यथास्थिति को खत्म किया. वहीं चीन के विरोध के बावजूद लद्दाख को केन्द्र शासित राज्य बनाया.

उपमुख्यमंत्री ने मध्य बिहार में पानी की किल्लत की चर्चा करते हुए कहा कि अब किसानों को डीजल से खेती नहीं करनी पड़ेगी. अब तक बिहार के 1.90 लाख किसानों को कृषि हेतु बिजली का कनेक्शन दिया जा चुका है, जिन्हें प्रति यूनिट मात्र 65 पैसे का भुगतान करना होगा. अगर दुबार मौका मिला तो हर खेत तक बिजली पहुंचा दी जाएगी.

बिहार के डिप्टी सीएम ने कहा कि केन्द्र सरकार ने 1500 से ज्यादा विशेष श्रमिक ट्रेनों के जरिए 21 लाख से ज्यादा श्रमिकों को उनके घरों तक पहुंचाया और राज्य सरकार 14 दिनों तक उन्हें कोरेंटिन सेंटर में रख कर उनकी देखभाल की है. कोरोना संकट के दौरान 8.71 करोड़ लोगों को 15 किलो चावल व 3 किलो दाल मुफ्त में दिया गया है. कोरोना से लड़ने वाली सरकार चीन को भी जवाब देने में सक्षम है.

Also Read: सुशांत सिंह राजपूत सुसाइड केस : चिराग पासवान ने महाराष्ट्र के सीएम से की बात, चिट्ठी भी लिखी

Next Article

Exit mobile version