Bihar Land Survey : खतियान और बंदोबस्ती रसीद से पहले चाहिए ये दस्तावेज, कैसे और कहां बनेगी वंशावली

Bihar Land Survey : अपने परिवार की डिटेल किसे देनी है और कौन इसपर अपनी अंतिम मुहर लगाएगा. ऐसे में यह जानना बेहद जरूरी है कि वंशावली के लिए किस प्रकार पारिवारिक विवरण लिखा जाये. उसे कब, कैसे और कहां दाखिल किया जाये. किस पदाधिकारी के हस्ताक्षर से वंशावली निर्गत होगी.

By Ashish Jha | September 4, 2024 10:54 AM
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Bihar Land Survey : पटना. जमीन सर्वे के लिए वंशावली एक अहम दस्तावेज है. जमीन पर अपनी दावेदारी के लिए जमीन रैयत को खतियान और बंदोबस्ती रसीद से पहले अपनी वंशावली सर्वे अधिकारियों को देनी होगी. कई लोग इस वक्त वंशावली बनाने के लिए चक्कर काट रहे हैं. लोगों को पता ही नहीं चल रहा है कि उन्हें वंशावली बनवाने के लिए क्या करना होगा, किसके पास जाना होगा. सर्वे कार्य के दौरान सर्वेक्षणकर्मी जमीन के असली रैयत से कई कागजात मांगेंगे और इनके सत्यापन के बाद ही जमीन से जुड़ी जानकारियों को अपडेट किया जाएगा. इनमें से जरूरी व एक अहम कागजात वंशावली भी है. लेकिन, प्रचार-प्रसार का अभाव व पूरी जानकारी नहीं होने से लोगों का समय सोचने-समझने में ही निकल रहा है. आम सभा में लोगों को सटीक व सही जानकारी मिलने और सभी लोगों को आमंत्रित नहीं किये जाने से यह समस्या आ रही है.

जमीन रैयत के संतानों की देनी होगी सूची

वंशावली बनाने के लिए पंचायत कार्यालय से एक छह पन्ने का फार्म लेना होगा. इसके बाद आवेदक को परिवार का वंशावली सूची तैयार करना होगा. जिसके नाम से जमीन का दस्तावेज या खतियान है उस व्यक्ति के संतानों की पूरी सूची वंशावली में उल्लेखित कर उसे शपथ पत्र के रूप में तैयार करना होगा. साथ ही चार गवाहों का हस्ताक्षर के साथ फार्म को पंचायत कार्यालय में जमा करना होगा. वहां आपकी ओर से दी गयी जानकारी की जांच करने के बाद वार्ड सदस्य, आंगनबाड़ी सेविका, चौकीदार, सरपंच और मुखिया के हस्ताक्षर के उपरांत वो दस्तावेज ग्राम पंचायत सचिव के पास जायेगा.

सरपंच लगायेंगे आखिरी मुहर

ग्राम पंचायत सचिव आपके दावे का सार्वजनिक नोटिस करेगा. अगर सात दिनों के अंदर आपके दावे पर कोई आपत्ति नहीं आती है तो प्रतिवेदन ग्राम कचहरी सचिव को भेज दिया जायेगा. ग्राम कचहरी के सचिव कार्यालय अभिलेख में वंशावली के कागजात का विवरण दर्ज करते हुए सरपंच को वंशावली निर्गत करने के लिए अभिलेख को भेजेंगे. फिर सरपंच वंशावली प्रमाणपत्र पर अपना हस्ताक्षर व मोहर करने के बाद आवेदनकर्ता को वापस लौटा देंगे. यह कार्य लिए आवेदक चाहें तो ऑनलाइन या फिर ऑफलाइन दोनों प्रक्रिया में से कोई एक को चुन सकते हैं.

सीवान में पांच प्रतिशत लोगों के पास भी वंशावली नहीं

बिहार के सीवान जिले में जमीन सर्वेक्षण का काम पिछले माह से ही चल रहा है. मौजूदा समय में अभी लोगों को प्रपत्र 2 और प्रपत्र 3 वेबसाइट पर अपलोड करना है. प्रपत्र 2 घोषणा पत्र है, जबकि प्रपत्र 3 में वंशावली की जानकारी देनी है, लेकिन जानकारी के अनुसार अबतक पंचायतों में 5 फीसदी भी आवेदन वंशावली बनाने को लेकर प्राप्त नहीं हुआ है. सरकार के गाइडलाइन के अनुसार कागजात दिखाने पर ही जमीन के मालिकों को उनका मालिकाना हक दिया जाना है.

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वंशावली बनाने को लेकर नहीं आ रहे आवेदन

मुखिया और सरपंच का कहना है कि लोग वंशावली बनवाने के मामले में जल्दीबाजी नहीं दिखा रहे हैं. ऐसे में बाद में उन्हें वंशावली निर्गत करने में देरी होगी. इस तरह से तय समय में न तो लोग प्रपत्र 2 और न प्रपत्र 3 सर्वे टीम ही जमा या अपलोड कर पाएंगे. नोटरी पब्लिक (लेख्य प्रगणक) का शपथ पत्र भी मान्य कर दिए जाने के बाद लोगों ने राहत की सांस ली है. अब उम्मीद है कि वंशावली के लिए पंचायत कार्यालय में आवेदन भी पड़ेंगे. चुकी अधिकतर लोग अभी शपथपत्र व खतियान जिला अभिलेखगार से निकलवाने में लगे हुए हैं.

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