पटना. बिहार सरकार की विशेष निगरानी इकाई (एसवीयू) ने मंगलवार को बिहार अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड (बुडको) के कार्यपालक अभियंता अनिल कुमार यादव की करोड़ों रुपये की काली कमाई का खुलासा किया है. एसवीयू की दो अलग-अलग टीमों ने कार्यपालक अभियंता के राजापुर पुल स्थित बुडको कार्यालय और पुनाईचक स्थित फ्लैट पर जांच की. यहां से उनको भारी मात्रा में जमीन, फ्लैट व निवेश के कागजातों के साथ ही 35 लाख के जेवरात और दो लाख रुपये नकद बरामद हुए. उनकी कुल संपत्ति अाय के ज्ञात स्रोतों से पांच गुनी अधिक बतायी गयी है.
अधिकारियों के मुताबिक अभियुक्त की अब तक की कुल आय 65 लाख रुपया है. इस मामले में अारोपित कार्यपालक अभियंता के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की विभिन्न धाराओं और आइपीसी की धारा 120 (बी) के तहत 98.41 लाख रुपये आय से अधिक संपत्ति की एफआइआर दर्ज की गयी थी. जांच को लेकर एसवीयू की टीम सुबह 7.15 बजे ही राजापुर पुल स्थित बुडको कार्यालय पहुंच गयी. देर शाम तक छापेमारी जारी रही.
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35 लाख के जेवरात और दो लाख रुपये नकद बरामद
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पुनाईचक के रामगोविंद इंक्लेव अपार्टमेंट और फुलवारी स्थित शिव-राधिका अपार्टमेंट में फ्लैट
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अनिसाबाद में एक सोसाइटी में प्लॉट, दानापुर में दो कट्ठे का आवासीय भूखंड, मनेर और मधेपुरा में भी बड़ा भूखंड
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बैंक चेक के माध्यम से 75 लाख रुपये खर्च किये गये
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नौ लाख रुपये का वित्तीय संस्थानों में निवेश
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बेटों की पढ़ाई पर आठ लाख रुपये सालाना खर्च
पता लगा है कि कार्यपालक अभियंता ने काली कमाई का बड़ा हिस्सा रियल इस्टेट में निवेश किया है. उन्होंने साला और ससुर के नाम पर भी कई संपत्तियां खरीदी. पुनाईचक स्थित रामगोविंद इंक्लेव अपार्टमेंट में फ्लैट के अलावा फुलवारी स्थित शिव-राधिका अपार्टमेंट में भी फ्लैट बुक किया है. अनिसाबाद में एक सोसाइटी में प्लॉट लिया है, जिसकी कीमत करोड़ों में है. दानापुर में लगभग दो कट्ठे का आवासीय भूखंड का मालिकाना हक इनके नाम है, जो अभी करोड़ों का है. पटना के मनेर में भी इन्होंने लाखों रुपये का काफी बड़ा भूखंड खरीदा है.
दस्तावेजों से पता चला है कि पिछले साल अनिल ने लगभग 400 करोड़ रुपये का टेंडर पास किया है, जिसमें काफी धन कमाया है. खातों में लाखों रुपये मिले. चेक से किये भुगतान से पता लगा है कि अभियुक्त ने विभिन्न मदों में करीब 75 लाख रुपये खर्च किये. लगभग नौ लाख रुपये का वित्तीय संस्थानों में निवेश है. अनिल के दो लड़के केआइटी इंजीनियरिंग कॉलेज में अंतिम वर्ष की पढ़ाई कर रहे हैं, जिन पर लगभग आठ लाख रुपये सालाना का खर्च आता है. स्कॉर्पियो और होंडा सिटी कार तथा एक पल्सर और प्लेटिना मोटरसाइकिल भी मिली.