सीएनएलयू : बाल श्रम से मुक्त बच्चों को जोड़ा जा रहा शिक्षा से
चाणक्य नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, पटना और समग्र शिक्षण एवं विकास संस्थान (एसएसइवीएस) की ओर से कार्यक्रम आयोजित किया गया
संवाददाता, पटना: चाणक्य नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, पटना और समग्र शिक्षण एवं विकास संस्थान (एसएसइवीएस) की ओर से कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें बालश्रम से मुक्त होकर नेतृत्व की ओर बढ़ रहे बच्चों ने अपनी प्रेरणादायक यात्रा साझा की. सीएनएलयू के चाइल्ड राइट्स सेंटर (सीआरसी) सभागार में आयोजित कार्यक्रम में संस्थान के रजिस्ट्रार एसपी सिंह ने बालश्रम से मुक्त बच्चों के भविष्य के लिए, उनके आगे के जीवन के लिए, उन्हें समाज की मुख्य धारा में लाने के लिए कार्य किये जाने और इसके लिए सीएनएलयू द्वारा भूमिका निभाने की बात कही. एसएसइवीएस के आदित्य कुमार ने लीडरशिप नेक्स्ट प्रोजेक्ट परियोजना के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला. इस परियोजना के अंतर्गत मुजफ्फरपुर, वैशाली, दरभंगा और मधुबनी जिलों के 137 बच्चों को संगठित कर उनके नेतृत्व क्षमता को विकसित करने की दिशा में कार्य किया जा रहा है. चाइल्ड राइट सेंटर के समन्वयक डॉ चंदन कुमार ने सीआरसी के उद्देश्य को स्पष्ट करते हुए इस चर्चा के माध्यम से जो निष्कर्ष सामने आयेंगे, उन्हें लेकर एक रिसर्च के माध्यम से आगे बढ़ाने के बात कहीं. इसके बाद मधुबनी और दरभंगा से आये बालश्रम से मुक्त हुए बच्चे मो शादाब, सचिन कुमार और अकबर ने अपनी संघर्ष और उपलब्धियों की कहानियां साझा कीं. श्रम संसाधन विभाग के निबंधक गणेश झा ने अपने अनुभव को साझा किया. आमोद कुमार निराला (प्रदेश अध्यक्ष, पंच-सरपंच संघ) ने अनुभव साझा करते हुए बताया कि मधुबनी, कटिहार, गया में पालक कुछ राशि के बदले अपने बच्चों को बाल मजदूरी कराने के लिए ठेकेदारों के हाथों बाहर भेजते थे. उन्होंने सुझाव दिया कि बाल आयोग द्वारा सरकार को पत्र भेज कर बालश्रम के लिए कार्य करनेवाली संस्थाओं को सहयोग करने करे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है