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सीएम नीतीश कुमार ने जनता दरबार में सुनी 84 लोगों की समस्याएं, अधिकारियों को दिए जरूरी दिशा निर्देश

जनता दरबार में मुख्यमंत्री ने राज्य के विभिन्न जिलों से पहुंचे 84 लोगों की समस्याओं को सुना और संबंधित विभागों के अधिकारियों को उन समस्याओं के समाधान के लिए समुचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आज सोमवार को सचिवालय परिसर में आयोजित जनता दरबार कार्यक्रम में शामिल हुए. जनता दरबार में मुख्यमंत्री ने राज्य के विभिन्न जिलों से पहुंचे 84 लोगों की समस्याओं को सुना और संबंधित विभागों के अधिकारियों को उन समस्याओं के समाधान के लिए समुचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया. जनता दरबार में आज सामान्य प्रशासन विभाग, स्वास्थ्य विभाग, शिक्षा विभाग, समाज कल्याण विभाग, पिछड़ा एवं अति पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग, वित्त विभाग, अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग, विज्ञान एवं प्रावैधिकी विभाग, सूचना प्रावैधिकी विभाग, कला, संस्कृति एवं युवा विभाग, श्रम संसाधन विभाग तथा आपदा प्रबंधन विभाग से संबंधित मामलों पर सुनवाई की गई.

  • मुख्यमंत्री के जनता दरबार में पश्चिम चंपारण जिला के भितिहरवा से आए एक फरियादी ने गुहार लगाते हुए कहा कि मेरे परिजन का कोरोना के कारण अनुमंडल अस्पताल में ही निधन हो गया, कोविड जांच भी पॉजिटिव पाया गया उसके बाद भी स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी इसे मानने को तैयार नहीं है. कोरोना से मृत्यु के पश्चात मिलने वाली सहायता राशि अब तक नहीं मिल पाई है.

  • मुंगेर जिला से आयी एक महिला ने भी मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि मेरे पति की भागलपुर सरकारी अस्पताल में वर्ष 2021 में ही कोरोना से मृत्यु हो गई थी. मगर अब तक किसी प्रकार सहायता नहीं मिल पायी है. मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग को मामले की जांचकर शीघ्र समुचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • समस्तीपुर जिला से आए एक युवक ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि मेरे पिता सरकारी शिक्षक थे, जो वर्ष 2009 में सेवानिवृत हो चुके थे, उनका देहांत वर्ष 2016 में हो गया, उसके बाद से विभाग ने पेंशन देना बंद कर दिया है. मेरे पिताजी की दो शादियां थीं पहली शादी से एक भी संतान नहीं थी, जबकि दूसरी शादी से हम छह भाई-बहन हैं. पटना हाईकोर्ट ने हम सभी भाई बहनों को अपने डिसिजन में पेंशन देने को कहा है. जिला शिक्षा पदाधिकारी समस्तीपुर ने दो साल विलंब से 2022 में आदेश दिया, मगर अब तक पेंशन शुरु नहीं किया जा सका है. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को समुचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • लखीसराय जिला से आयी एक महिला ने मुख्यमंत्री से आंगनबाड़ी सेविका के चयन में अनियमितता बरते जाने की शिकायत की.

  • वहीं पूर्वी चंपारण जिला से आयी एक युवती ने मुख्यमंत्री से फरियाद करते हुए कहा कि वर्ष 2017 में उनका आंगनबाड़ी सेविका में चयन हो गया है लेकिन अब तक योगदान नहीं दिलाया गया है. मामले में मुख्यमंत्री ने समाज कल्याण विभाग को जांचकर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • सहरसा जिला से आए एक फरियादी ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि वर्ष 2018 में छठ के दौरान अर्घ्य देने के क्रम में डूबने से उनकी पुत्री की मौत हो गई थी लेकिन सरकार द्वारा आपदा में दी जानेवाली अनुग्रह राशि का अब तक भुगतान नहीं किया गया है. मुख्यमंत्री ने आपदा प्रबंधन विभाग को आवश्यक कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • अरवल जिला से आए एक छात्र ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि वर्ष 2019 में मैट्रिक पास किया लेकिन अब तक 10 हजार रुपये की प्रोत्साहन राशि नहीं मिल पायी है. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को मामले की जांचकर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • मधुबनी जिला से आयी एक महिला ने मुख्यमंत्री से शिकायत करते हुये कहा कि प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र राजनगर के अस्पताल में उनका बंध्याकरण का ऑपरेशन किया गया था लेकिन वह असफल रहा और पुनः गर्भवती हो गयी, दोषियों पर कार्रवाई की जाए. मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • बांका जिला से आये एक दिव्यांग छात्र ने मुख्यमंत्री से डिलेड की पढ़ाई करने को लेकर स्टुडेंट क्रेडिट योजना का लाभ मिलने की मांग की. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • औरंगाबाद जिला से आये एक दिव्यांग ने बैट्री चालित ट्राई साइकिल प्रदान करने की मांग की मुख्यमंत्री ने समाज कल्याण विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • मधेपुरा जिला से आयी एक लड़की ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुये कहा कि बी०एस०सी० नर्सिंग की पढ़ाई हेतु चार लाख रूपये स्टेट बैंक से कर्ज ली थी. पढ़ाई समाप्त होने पर आउटसोर्सिंग से आई०जी०आई०एम०एस० में नर्सिंग ऑफिसर के पद पर कार्य कर रही हूं. लेकिन बैंक मेरे खाते से 10 प्रतिशत की दर से चक्रवृद्धि ब्याज जोड़कर पैसे काट रही है. वर्तमान में सरकार की नीति के अनुसार स्टुडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के तहत लड़कियों को 1 प्रतिशत ब्याज पर पढ़ाई के लिये शिक्षा ऋण उपलब्ध करा रही है. मुझे काफी परेशानी हो रही है, कृपया इसका समाधान किया जाय. मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • कटिहार जिला से आए एक अभिभावक ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि आदर्श मध्य विद्यालय में शिक्षक समय से नहीं आते हैं और समय से पहले ही बच्चों की स्कूल से छुट्टी कर देते हैं, जिससे छात्रों की पढ़ाई प्रभावित होती है. इस विद्यालय में मेरे भी बच्चे पढ़ाई करते हैं. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग के मामले की जांचकर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

  • बक्सर जिला से आयी एक युवती ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि कन्या उत्थान योजना के अन्तर्गत प्रोत्साहन राशि का लाभ उसे मिलने की बजाए किसी दूसरे के खाते में ट्रांसफर कर दिया गया है. मुख्यमंत्री ने शिक्षा विभाग को मामले की जांचकर समुचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

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