पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने गुरुवार को ट्वीट कर महागठबंधन पर बड़ा हमला बोला है. उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने अपने ट्वीट में कहा है कि कोरोना संक्रमण को रोकने और लॉकडाउन में परेशान गरीबों-मजदूरों को राहत पहुंचाने में राज्य सरकार ने पूरी ताकत लगा दी. राजस्व संग्रह में कमी आने के बावजूद गरीबों की सेवा में तीन माह के भीतर 8538 करोड़ रुपये खर्च किये गये.
उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने कहा कि केंद्र और राज्य की एनडीए सरकारों ने आपदा प्रबंधन का अपना कौशल कोसी की बाढ़, चमकी बुखार और जलजमाव से लेकर कोरोना संक्रमण को रोकने तक बार-बार सिद्ध किया है. जो लोग सेना से शौर्य और सरकार से सेवा का हिसाब मांगते हैं, उन्हें बताना चाहिए कि मजदूरों को लाने के लिए 1000 बसें भेजने और 50 ट्रेनों के किराये के पैसे कहां चले गये? विपक्ष को 2005 से पहले बीस साल में हुए लाखों मजदूरों के महापलायन पर श्वेतपत्र जारी करना चाहिए.
सुशील मोदी ने अपने एक आगे कहा कि केंद्र सरकार ने कृषि उपज का समर्थन मूल्य बढ़ाने के बाद आवश्यक वस्तु अधिनियम में संशोधन के लिए अध्यादेश लाने का फैसला किया, जिससे 14 करोड़ से ज्यादा किसानों को लाइसेंसराज से मुक्ति मिलेगी. अब किसान अपनी उपज देश में कहीं भी बेच सकेंगे. बिचौलियों से आजादी मिलने से किसानों की आय बढ़ेगी. अब भूस्वामी कृषि भूमि किसी को पट्टे या अनुबंध पर देने को स्वतंत्र होंगे. उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकारों ने पांच दशक तक जिस मांग को दबाये रखा, उसे पूरा कर सरकार ने बड़ा तोहफा दिया. बिहार जैसे कृषि प्रधान राज्यों को इसका सबसे ज्यादा लाभ होगा.