भाकपा-माले के महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने शनिवार को प्रेस कांफ्रेंस कर कहा है कि माले सरकार में शामिल नहीं होगी. वह बाहर से सरकार को समर्थन देगी. बिहार को भाजपा मुक्त बनाने में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ऐतिहासिक कदम उठाया है. इसका असर देश भर में होगा और विपक्ष इसी तरह से एकजुट होकर 2024 में भाजपा को सत्ता से करेगा. ऐसे में हमारी पार्टी ने निर्णय लिया है कि हम सरकार से बाहर रहकर काम करेंगे.
दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा कि हम मुख्यमंत्री से मिलकर एक कॉर्डिनेशन कमेटी बनाने की मांग करेंगे. लोगों के लिए सरकार क्या-क्या करेगी, इसके लिए एक न्यूनतम साझा कार्यक्रम आयोजित कर घोषणा करने के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार व उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव से मांग करेंगे. बिहार की सरकार को भाजपा गिराने के लिए आने वाले समय में काम करेगी, लेकिन महागठबंधन में शामिल दल बिना डर-संकोच के अपना काम करेंगे.
दीपंकर ने कहा कि महाराष्ट्र का बदला बिहार ने लिया है. बिहार में भी भाजपा महाराष्ट्र की तर्ज पर पार्टी तोड़ने की कोशिश में जुटी थी, जिसमें वह सफल नहीं हो पायी. जदयू – महागठबंधन की सरकार अच्छे से चलेगी और गरीबों और युवाओं के लिए काम करेगी. मौके पर राज्य सचिव कुणाल, माले विधायक दल के नेता महबूब आलम सहित अन्य विधायक व नेता मौजूद थे.
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पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए दीपंकर भट्टाचार्य ने कहा कि लोकतंत्र रहेगा, तो 2024 में पीएम पद के लिए बहुत सा चेहरा है. अभी से पीएम चेहरा के लिए बात करना सही नहीं है. जहां तक मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बात है. वह अनुभवी नेता है. उनके कंधों पर बहुत सी जिम्मेदारियां है. अभी से और भार देने की जरूरत नहीं है. 2024 में एक बड़ा गठबंधन बनेगा. जिसमें कई विपक्षी दल होंगे. जब पत्रकारों ने पूछा कि गठबंधन का नेतृत्व नीतीश कुमार करेंगे, तो उन्होंने इसपर कुछ भी साफ-साफ कहने से मना कर दिया.