डॉक्टर के ड्राइवर ने क्लीनिक में फांसी लगाकर दी जान

patna news: फुलवारीशरीफ. शहर के पास कॉलोनी हारून नगर सेक्टर वन में सोफिया क्लिनिक के डॉक्टर के चालक ने अपने कमरे में फंदे से लटक कर जान दे दी.

By Prabhat Khabar News Desk | February 6, 2025 12:55 AM

फुलवारीशरीफ. शहर के पास कॉलोनी हारून नगर सेक्टर वन में सोफिया क्लिनिक के डॉक्टर के चालक ने अपने कमरे में फंदे से लटक कर जान दे दी. सुबह-सुबह जब इसकी जानकारी स्टाफ और क्लिनिक संचालक को हुई तो वहां अफरातफरी का माहौल हो गया. मृतक गया जिले का रहने वाला था. मृतक सुबोध कुमार (41 वर्ष) गया शहर के बहुआर चौरा चांदचौरा निवासी लगभग 2 वर्षों से डॉक्टर तनवीर होदा का ड्राइवर था.

बता दें कि इस क्लीनिक के पहले भी एक ड्राइवर की संदिग्ध परिस्थितियों में कुछ साल पहले मौत हो गयी थी जो मनेर का रहने वाला था. उस वक्त उसके परिवार के लोगों ने हंगामा भी किया था कि उसकी हत्या की गयी है लेकिन बाद में मामला रफा दफा हो गया.

पुलिस को पूछताछ में अस्पताल के लोगों ने बताया कि मंगलवार देर रात खाना खाने के बाद वह नर्सिंग होम के निचले तल्ले के पीछे अपने कमरे में चला गया. बुधवार को जब वह काफी देर तक कमरे से बाहर नहीं निकला तो खिड़की से जब झांक कर देखा गया तो सुबोध कुमार का शव पंखे से झूल रहा था.

फुलवारीशरीफ थाना के सब इंस्पेक्टर गोपाल प्रसाद मिश्र ने बताया कि उन्हें सूचना मिली कि फुलवारीशरीफ हारून नगर सेक्टर 1 के सोफिया नर्सिंग होम में एक युवक ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है.

नर्सिंग होम के संचालक डॉक्टर तनवीर होदा ने पुलिस को बताया कि सुबोध कई महीनों से अपने पारिवारिक मामले को लेकर परेशान था. उसने काफी लोगों से कर्ज ले रखा था. इन सब बातों को लेकर वह तनाव में रह रहा था.

ऑटो चालक ने पारिवारिक कलह में की आत्महत्या

पटना सिटी. पारिवारिक कलह से तंग आकर ऑटो चालक 25 वर्षीय सूरज कुमार ने फंदे से झूल कर जान दे दी. घटना खाजेकलां थाना क्षेत्र के मोगलपुरा छोटी बाजार शहीद भगत कॉलोनी मुहल्ले की है.

मृतक युवक के पिता दिलीप कुमार ने बताया कि बुधवार की सुबह बेटे ने पंखे के हुक में रस्सी का फंदा डाल फांसी लगा लिया. परिजनों ने जब देखा तो युवक को जान बचाने की नीयत से आनन फानन में श्री गुरु गोविंद सिंह सदर अस्पताल लेकर पहुंचे. जहां पर चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया.

परिजनों का कहना है कि सूरज का हाल में शादी हुई थी. शादी के बाद से मानसिक पीड़ा झेल रहा था. पिता का कहना है कि उसने अपने स्तर से समझाया था. लेकिन इसके बाद भी उसने यह कदम उठा लिया. थानाध्यक्ष प्रभात रंजन सक्सेना ने बताया कि किसी तरह का सुसाइड नोट नहीं मिला है.

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