पटना में दुर्गा पूजा के दौरान मां दुर्गा की प्रतिमा दर्शन के अलावा शहर के कई जगहों पर आकर्षक झांकियां भी निकाली जाएंगी. शेखपुरा दुर्गाश्रम, मीठापुर प्राचीन देवी मंदिर, मीठापुर गौड़िया मठ, सिपारा एतवारपुर से निकले वाली झांकियां विशेष आकर्षण का केंद्र रहेंगी.
शेखपुरा स्थित दुर्गाश्रम में पूजा पंडाल और माता प्रतिमा का दर्शन करने हर साल लाखों की संख्या में लोग पहुंचते हैं. इस वर्ष दुर्गाश्रम में माता की प्राण प्रतिष्ठा की गयी है. इसलिए इस वर्ष यहां मां की प्रतिमा नहीं बैठाया जा रहा है. इस बार यहां ‘बेटी बचाओ’ की थीम पर चलंत झाकियां तैयार की गयी हैं. झांकियों के लिए चलंत प्रतिमाओं का निर्माण किया गया है.
मीठापुर स्थित प्राचीन देवी मंदिर दुर्गा पूजा समिति की ओर से इस बार कोलकाता के दक्षिणेश्वर काली मंदिर के तर्ज पर भव्य पंडाल का निर्माण किया गया है. पूजा समिति के सदस्य राकेश पांडेय ने बताया कि माता की 18 फुट की प्रतिमा के साथ ही यहां आकर्षक और समाज को सीख देने वाली झांकी भी बनायी गयी है. झांकी में स्वच्छ वातावरण का संदेश दिया जायेगा.
फ्रेंड्स क्लब की ओर से मीठापुर स्थित श्री गौड़ीय मठ मंदिर के निकट मां दुर्गा की 16 फुट की भव्य प्रतिमा बैठायी गयी है. यहां मां दुर्गा आशीर्वाद मुद्रा में दिख रही हैं. यहां पंडाल के पास सेल्फी प्वाइंट भी बनाया गया है, जो लोगों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. इसके साथ ही यहां पर शराबबंदी थीम चलंत झांकी भी देखी जा सकती है.
पटना के सबसे ऊंचे पंडालों में सिपारा के एतवारपुर इलाके में बनाया गया है. यहां तमिलनाडु के मदुरै स्थित शिव एवं पार्वती को समर्पित विश्व प्रसिद्ध मिनाक्षी अम्मन मंदिर की प्रतिकृति तैयार की गयी है. 100 फुट ऊंचा मिनाक्षी मंदिर पंडाल में मां दुर्गा की प्रतिमा की ऊंचाई 15 फुट रखी गयी है. प्रतिमा का आकर्षण फल और फूलों व बीजों से बनायी जाने वाली साड़ी है. मां का मुकुट भी इसी तरह तैयार किया गया है. यहां मां का आसन भी भव्य रूप से तैयार किया गया है. मां की प्रतिमा की साज-सज्जा सुपारी, गेहूं मटर, विनौला, बेल फल और बीज से बनायी गयी है. इसके साथ ही यहां पर लेजर लाइट शो का भी विशेष आयोजन किया गया है.