Fire In Patna: पटना के कोतवाली थाना क्षेत्र के विद्यापति मार्ग स्थित पटना संग्रहालय में उस वक्त अफरा-तफरी मच गयी जब नवनिर्मित भवन गंगा-पाटली गैलरी में भीषण आग लग गयी. आग की लपटें देख काम कर रहे मजदूरों में अफरा-तफरी मच गयी. लोग इधर-उधर भागने लगे. आग की सूचना मिलते ही मौके पर पटना म्यूजियम के प्रशासन, कोतवाली थाने की पुलिस मौके पर पहुंच गयी.
वहीं तुरंत लोदीपुर फायर स्टेशन से दमकल की छोटी-बड़ी 25 गाड़ियां पहुंच गयीं. गैलरी के पास सीधे गाड़ी नहीं जाने के कारण दमकल कर्मियों ने पाइप जोड़कर गैलरी तक पानी को पहुंचाया. इस भवन में गंगा गैलरी और पाटलि गैलरी का काम चल रहा था. आग लगने की वजह से अफरा-तफरी का माहौल हो गया. धुआं इतना ज्यादा था कि जितने भी वहां काम करने वाले लोग थे, सभी खुले में आ गये.
शीशा तोड़ने के दौरान दो दमकलकर्मी जख्मी
वहां काम करनेवाले लोगों ने बताया कि आग सुबह 10:45 के लगभग लगी थी. वहीं वहां मौजूद अधिकारियों ने बताया कि उन्हें आग लगने की सूचना 11:30 बजे मिली जिसके बाद फायर ब्रिगेड को फोन किया गया. पांच मिनट के अंदर दमकल गाड़ियां परिसर में आ गयी थीं. टीम तुरंत रेसक्यू के साथ आग बुझाने में लग गयी. अंदर आग की तेज लपटें उठ रही थीं और धुएं की वजह से अंदर कुछ भी नजर नहीं आ रहा था. ऐसे में डेढ़ घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका. धुएं में दम घुटने के कारण एक दमकल कर्मी की तबीयत भी बिगड़ गयी. एक्जिट के लिए बने दरवाजे के एक हिस्से को तोड़ कर पहले दमकल की टीम अंदर गयी, लेकिन धुआं अंदर इतना ज्यादा था कि दरवाजे के शीशे को तोड़ा गया. शीशा तोड़ने के क्रम में दो कर्मी जख्मी हो गये.
वेल्डिंग की चिंगारी से पुआल में पकड़ी आग
मजदूरों के अनुसार गंगा और पाटलि गैलरी में कटआउट का काम चल रहा था. इसमें पुआल का भी उपयोग किया जा रहा था. वेल्डिंग के दौरान चिंगारी निकली और पुआल में आग लग गयी. मजदूर कुछ समझ पाते, तब तक आग फैल गयी. इसके बाद सभी मजदूर भाग गये. निर्माण कार्य का सामान पूरी तरह जलकर राख हो गया. बता दें कि गंगा गैलरी में गंगा की उत्पत्ति को दिखाने के लिए पहाड़ की आकृति बनायी गयी थी. वहीं गंगा किनारे रहने वालों के दृश्य को दर्शाने के लिए भी मॉडल तैयार हो रहे थे, जिसके लिए प्लाय, पुआल,फाइबर, जीएफआरसी, एफआरसी जैसे केमिकल रखे थे, जिसके कारण आग और तेजी से फैल गयी.
डेढ़ घंटे में आग पर पाया काबू, तोड़ी गयी दीवार
आग लगने के साथ ही संग्रहालय के पिछले हिस्से के बाउंड्री वॉल के पास से दो दमकल गाड़ियां और अंदर के हिस्से में 5 दमकल गाड़ियां मौजूद थीं. पिछले हिस्से में जगह कम होने की वजह से गाड़ियां वहां तक नहीं पहुंच सकीं. गाड़ियों से पाइप के जरिये पानी की बौछार अंदर की गयी. आग पर पूरी तरीके काबू पाने में डेढ़ घंटे का समय लगा. सबसे ज्यादा परेशानी धुएं को बाहर निकालने में आयी, क्योंंकि नवनिर्मित भवन में एक भी खिड़की मौजूद नहीं है. आग बुझाने के बाद गैलरी के एक हिस्से को मजदूरों की ओर से तोड़ा भी गया, जिससे आग से उत्पन्न हुए धुआं निकल सके.
क्या बोले प्रत्यक्षदर्शी
मौके पर मौजूद मजदूर मो मयूर ने बताया कि वे गैलेरी के दूसरे हिस्से में काम कर रहे थे. जब सूचना मिली की आग लगी है, तो आग बुझाने की कोशिश की. लेकिन अंदर रखी फाइबर शीट और प्लाइ में आग तेजी से फैलने लगी जिसकी वजह से वहां मौजूद मजदूरों के बीच अफरा-तफरी मच गयी. आग फैलते ही सभी मजदूर वहां से जान बचाकर निकल गये. वहीं दूसरी प्रत्यक्षदर्शी गैलरी के बगल में बने ऑफिस में स्टोर रूम में कार्य कर रही थी. उसने बताया कि अचानक से रूम में धुआं आने लगा. जिसे देखकर वह डर गयी. आस-पास के लोग भागकर बाहर निकल रहे थे. बाहर आकर देखा, तो गंगा गैलरी में आग लगी थी और मजदूर बाहर भाग रहे थे. ऑफिस के सारे स्टाफ खुले में आ गये थे.
क्या बोले अधिकारी
आइजी एम सुनील कुमार नायक ने बताया कि बिल्डिंग अंडर कंस्ट्रक्शन है. आग बुझाने में अंदर मौजूद मूर्तियों की वजह से कड़ी मशक्कत करनी पड़ी. संग्रहालय के निदेशक राहुल कुमार ने कहा कि संग्रहालय में नयी गैलेरी का निर्माण कार्य चल रहा था. अंदर फाइबर का काम चल रहा था. इसी दौरान किसी फॉल्ट की वजह से आग लग गयी है. किसी को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है. डीएसपी विधि व्यवस्था कृष्ण मुरारी प्रसाद ने बताया कि 11.:40 में आग लगने की सूचना मिली थी . जिसके बाद फायर ब्रिगेड को सूचित किया गया.