पटना : शहर होली के मूड में रंग चुका है. मंगलवार को रंगों का त्योहार होली मनाया जायेगा. उससे पहले सोमवार को होलिकादहन होगा. होली में जितना महत्व रंगों का है, उतना ही होलिकादहन का है. इसको कर शहर के लगभग सभी इलाकों में सार्वजनिक स्थल पर होलिका इकट्ठा की गयी है. इसका शुभ मुहूर्त रात 11 बज कर 26 मिनट पर है. पंडित डॉ श्रीपति त्रिपाठी ने बताया कि इस दिन पूर्णिमा तिथि होने से चंद्रमा का प्रभाव ज्यादा बन रहा है. इस दिन भद्रा का वास पृथ्वी पर रहेगा. लेकिन भद्राकाल रविवार की रात्रि 1.40 मिनट से शुरू होकर दोपहर 12.32 तक रहेगा. वहीं, शाम को प्रदोष काल में होलिका दहन के समय भद्राकाल नहीं होने से होलिका दहन शुभ फल देने वाला रहेगा.
अनाज से हवन करने की परंपरा : पंडित त्रिपाठी के मुताबिक होलिका दहन का दिन इच्छित कामनाओं की पूर्ति करने के लिए श्रेष्ठ माना गया है. होलिका शब्द संस्कृत से लिया गया है, जिसका अर्थ भूना हुआ अनाज होता है. होलिका दहन में अनाज से हवन करने की परंपरा है. चौक-चौराहों पर इकट्ठी लकड़ियों में अगजा प्रज्वलित कर जल, चावल, फूल, कच्चा सूत, हल्दी, मूंग व गेहूं की बालियां को इसमें डाल होलिका दहन होता है.
होलिका में सूखी लकड़ियों का ही करें इस्तेमाल : होलिका दहन को लेकर शहर के कई चौक-चौराहों और मोहल्लों में पुरानी सामग्रियां इकट्ठा की गयी हैं. इनमें टूटी लकड़ियों के साथ ही कांटेदार झाड़ियां व पत्ते आदि शामिल हैं.
कुछ जगहों पर टायर-ट्यूब जैसी सामग्रियां भी होलिका में डाल दी गयी हैं, जिनसे प्रदूषण होता है. प्रशासन ने भी इनसे बचने की अपील की है. ग्रंथों के अनुसार होलिका दहन में गाय के गोबर से बने कंडे और कुछ चुने हुए पेड़ों की लकड़ियों को ही जलाना चाहिए. क्योंकि धार्मिक दृष्टि से भी पेड़ों पर किसी न किसी देवता का अधिपत्य होता है. उनमें देवी-देवताओं का वास माना जाता है. हिंदी साल की शुरुआत भी होलिका दहन के बाद से ही शुरू होती है.
होलिकादहन का वैज्ञानिक दृष्टिकोण : इसके कई वैज्ञानिक दृष्टिकोण हैं. ग्रीष्म ऋतु का आगमन हो जाता है. वहीं, खेतों में फसलों की कटाई हो जाती है. इसके बाद खेत-खलिहानों के सूखे पत्तों के ढेर लग जाते हैं. ऐसे में गरमी से राहत पाने के लिए ठंडी हवा
व छांवदार जगहों की शरण ले सकें. इसके लिए होलिका दहन पर सूखे पेड़ व पत्तों को जला कर सफाई की जाती है. अग्नि के साथ कई मौसमी कीट-पतंगे भी जल जाते हैं. इससे पूरी तरह से मौसम के अनुकूल हम वातावरण का निर्माण कर पाते हैं.
शुभ मुहूर्त रात 11:26 बजे पर भद्राकाल रविवार की रात्रि 1.40 मिनट से दोपहर 12.32 तक रहेगा
होली में हुड़दंग मचाने वालों के खिलाफ करें 107 के तहत कार्रवाई
एसएसपी ने कहा कि हर हाल में स्वच्छ व भयमुक्त वातावरण में होली होनी चाहिए. किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी. होली के दौरान असामाजिक तत्वों पर कड़ी नजर रखने को जिले के सभी थानाध्यक्षों को कई बिदुओं पर निर्देश दिया गया. साथ ही होली मिलन समारोह पर पैनी नजर रखने को कहा गया.
क्राइम मीटिंग में थानेदारों को दिये टास्क : उपेंद्र शर्मा ने सभी थानेदारों को अपने-अपने इलाके के अपराधियों व होली में हुड़दंग मचाने वालों की पहचान कर आइपीसी की धारा 107 के तहत कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. शराब तस्करों पर विशेष नजर रखने व पियक्कड़ों को धर-पकड़ करने का टास्क दिया गया है. होलिका दहन को लेकर पूरी तरह से अलर्ट रहने का निर्देश दिया गया है.
सुरक्षा से संबंधित परेशानी है, तो यहां करें फोन
पुलिस हेल्पलाइन 18603456999
एसएसपी 9431822967
सिटी एसपी (पूर्वी) 9473400336
सिटी एसपी (पश्चिमी) 9431822969
डीएसपी कोतवाली 9431818398
डीएसपी टाउन 9431818400
सचिवालय डीएसपी 9431818399
दानापुर थानाप्रभारी 9431822129
फुलवारीशरीफ थानाप्रभारी 9431822155
अगमकुआं थानाप्रभारी 9431822107
आलमगंज थानाप्रभारी 9431822149
होली दहन पर प्रदूषणकारी पदार्थों का न करें इस्तेमाल : आयुक्त
पटना. प्रमंडलीय आयुक्त एसके अग्रवाल ने आम लोगों से होलिका दहन पर प्रदूषणकारी पदार्थों जैसे प्लास्टिक, रबर, टायर, मोबिल, केराेसिन तेल आदि का उपयोग न करने की अपील की है. इसके उपयोग से मानव स्वास्थ्य व पर्यावरण पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है. आयुक्त ने होलिका दहन, होली व मटका फोड़ के कार्यक्रमों का सफल और शांतिपूर्ण संपादन सुनिश्चित कराने तथा विधि व्यवस्था बनाये रखने के लिए भी दिशा-निर्देश दिये. आयुक्त ने संवेदनशील स्थलों और होलिका दहन स्थलों का भ्रमण कर लगातार निगरानी रखने का निर्देश दिया है. उन्होंने थानावार शांति समिति की बैठक कर स्थानीय लोगों से समन्वय स्थापित करने और होली का शांतिपूर्ण आयोजन करने का निर्देश भी दिया.
सिपाही से लेकर आइजी तक की छुट्टियां रद्द
पटना. होली के मौके पर अराजक तत्व हुड़दंग न कर सकें, इसके लिए पुलिस ने पुख्ता तैयार कर ली है. फील्ड में तैनात सिपाही से लेकर आइजी तक की छुट्टियां रद्द कर दी गयी हैं. मुख्यालय ने विशेष परिस्थिति में ही सीनियर अधिकारी से अनुमति के बाद ही छुट्टी देने के निर्देश दिये हैं. जिन जिलों में डीएसपी के पद रिक्त चल रहे थे, वहां एसटीएफ के डीएसपी स्तर के पदाधिकारियों को भेजकर वैकल्पिक व्यवस्था की गयी है.
पैरा मिलिट्री फोर्स की एक कंपनी पटना, दूसरी भागलपुर में तैनात कर दी गयी है. पुलिस के तीन हजार जवानों को विभिन्न जिलों में अतिरिक्त बल के रूप में भेजा गया है. चौक- चौराहों पर चेकिंग सामान्य दिनों की अपेक्षा बढ़ा दी गयी है. मद्य निषेध इकाई को विशेष कार्रवाई जारी है. एसपी तक को गश्त और चेकिंग के निर्देश हैं.