लालू यादव ने फिर छेड़ा बाबरी मस्जिद का राग, अपने संदेश संग याद दिलाई आडवाणी की गिरफ्तारी, जानें क्या कहा..
राजद सु्प्रीमो लालू प्रसाद यादव ने आज बाबरी मस्जिद का राग फिर एकबार छेड़ा है. आरजेडी प्रमुख ने लाल कृष्ण आडवाणी की गिरफ्तारी को याद दिलाया है.
राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने एकबार फिर बाबरी मस्जिद का राग छेड़ा है. 1990 में अपने मुख्यमंत्री कार्यकाल के दौरान लाल कृष्ण आडवाणी को गिरफ्तार किये जाने की बात को याद दिलाते हुए लालू प्रसाद ने राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद मामले का जिक्र किया है.
राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने आज सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के जरिये भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी की गिरफ्तारी को याद किया. आरजेडी प्रमुख ने लिखा कि -” राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद के मसले ने देश को एक नाजुक मोड़ पर खड़ा कर दिया था. मैंने आडवाणी जी को गिरफ्तार कर पूरे विश्व को एक संदेश दिया था कि भारत में आज भी शांतिप्रिय व धर्मनिरपेक्ष ताकतें मजबूत है. हममें इतनी शक्ति है कि हम फ़िरकापरस्त व फासीवादी ताकतों को उखाड़ फेंके.”
गौरतलब है किराष्ट्रीय जनता दल ने 6 दिसंबर यानी सोमवार को बाबरी मस्जिद शहादत दिवस मनाने का फैसला किया था. पार्टी के प्रदेश कार्यालय में बाबरी मस्जिद शहादत दिवस का आयोजन की जानकारी प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने दी थी.
राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद के मसले ने देश को एक नाजुक मोड़ पर खड़ा कर दिया था। मैंने आडवाणी जी को गिरफ्तार कर पूरे विश्व को एक संदेश दिया कि भारत में आज भी शांतिप्रिय व धर्मनिरपेक्ष ताकतें मजबूत है।हममें इतनी शक्ति है कि हम फ़िरकापरस्त व फासीवादी ताकतों को उखाड़ फेंके।#BabriMasjid pic.twitter.com/ErcMYIjJ6A
— Lalu Prasad Yadav (@laluprasadrjd) December 6, 2021
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बता दें कि 6 दिसंबर, 1992 को ही अयोध्या में विवादित ढांचे को गिरा दिया गया था. इसके बाद से इस तारीख को विभिन्न संस्था व संगठनों की ओर से बाबरी मस्जिद शहादत दिवस का आयोजन होता रहा. लेकिन सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद राजद पहली बार ये आयोजन कर रहा है.
बता दें कि बाबरी विध्वंस के ठीक दो साल पहले भाजपा के नेता लाल कृष्ण आडवाणी ने 25 सितंबर, 1990 को गुजरात के सोमनाथ मंदिर से पूजा करने के बाद रथ यात्रा की शुरुआत की थी. इस रथ यात्रा को कई राज्यों से गुजरते हुए अयोध्या में 30 अक्टूबर को समाप्त होना था.
राममंदिर के समर्थन में निकाली गई इस रथयात्रा को 8 अक्टूबर 1990 के दिन अविभाजित बिहार के धनबाद पहुंचे. आडवाणी 22 अक्टूबर को पटना पहुंचे और 23 अक्टूबर को विशाल जनसभा की. देर रात समस्तीपुर पहुंचकर आडवाणी जब सर्किट हाउस में आराम कर रहे थे तो तत्कालीन मुख्यमंत्री लालू यादव ने उन्हें गिरफ्तार करवा दिया था.
Published By: Thakur Shaktilochan