पटना साहिब: भाजपा के गढ़ में कांग्रेस को खाई पाटने की बड़ी चुनौती
पटना साहिब लोकसभा क्षेत्र में अच्छी बात यह है कि सभी उम्मीदवार बेदाग हैं.चुनाव आयोग को सौंपे गये शपथ पत्र में किसी भी उम्मीदवार ने अपने ऊपर किसी तरह का आपराधिक मामला मामला दर्ज नहीं होने की जानकारी दी है.
Lok Sabha Election 2024 पटना साहिब लोकसभा सीट पर भाजपा के मौजूदा सांसद रविशंकर प्रसाद और कांग्रेस के अंशुल अविजीत के बीच सीधा मुकाबला है. अंशुल अविजीत कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और पूर्व लोकसभा अध्यक्ष मीरा कुमार के बेटे हैं. 2009 से अस्तित्व में आयी पटना साहिब सीट पर पिछले तीन टर्म से लगातार भाजपा का कब्जा है. इस सीट पर 2009 और 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर शत्रुघ्न सिन्हा ने बड़ी जीत दर्ज की थी.
2009 में उन्होंने राजद के विजय कुमार को 1.66 लाख वोट से जबकि 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के कुणाल सिंह को 2.65 लाख वोट के बड़े अंतर से चुनाव हराया था. 2019 में भाजपा ने शत्रुघ्न सिन्हा का टिकट काटते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता रविशंकर प्रसाद को उम्मीदवार बनाया, जिन्होंने कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ रहे शत्रुघ्न सिन्हा को 3.52 लाख वोटों के भारी अंतर से हराया. रविशंकर प्रसाद यहां से लगातार दूसरी बार जीत को लेकर प्रयासरत हैं. लोकसभा की छह में से चार विधानसभा पटना साहिब, दीघा, बांकीपुर और कुम्हरार पर भाजपा जबकि दो विधानसभा फतुहा और बख्तियारपुर पर राजद का कब्जा है.
स्टार कैंपेनरों का लगा रहा जमावड़ा
पटना साहिब में एनडीए और इंडिया दोनों गठबंधनों के स्टार कैंपेनरों का जमावड़ा लगा रहा. जहां एनडीए की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पटना में रोड शो किया. इस रोड शो में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी पीएम के साथ शामिल रहे. वहीं केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, एमपी के सीएम मोहन यादव, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ,
मैदान में खड़े हैं 17 उम्मीदवार
पटना साहिब लोकसभा क्षेत्र से 17 उम्मीदवार चुनाव मैदान में डटे हैं. इस संसदीय क्षेत्र के छह विधानसभा क्षेत्रों में आने वाले करीब 23 लाख मतदाता एक जून को इन उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेंगे. अच्छी बात है कि सभी उम्मीदवार बेदाग हैं. चुनाव आयोग को सौंपे गये शपथ पत्र में किसी भी उम्मीदवार ने अपने ऊपर किसी तरह का आपराधिक मामला मामला दर्ज नहीं होने की जानकारी दी है. शपथ पत्र के मुताबिक पटना साहिब के 17 उम्मीदवारों में लगभग दो तिहाई यानि 12 कुम्हरार और बांकीपुर विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधत्व करते हैं. शेष पांच में एक-एक दीघा और पटना साहिब विधानसभा, दो अन्य गया और नालंदा जिला जबकि एक राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के मूल निवासी हैं. सबसे अधिक कुम्हरार से सात और बांकीपुर से पांच उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं. यह सभी बोरिंग रोड, नाला रोड, बुद्धा कॉलोनी, कंकड़बाग मेन रोड, कांटी फैक्ट्री रोड, महेंद्रू, मछुआ टोली, चांदपुर बेला, कदमकुआं और बहादुरपुर इलाके से आते हैं. ग्रामीण क्षेत्र में आने वाले फतुहा और बख्तियारपुर विधानसभा क्षेत्र से कोई भी उम्मीदवार नहीं है.
उम्मीदवारों की औसत आयु 50 वर्ष
आंकड़ों के मुताबिक पटना साहिब से खड़े 17 उम्मीदवारों की औसत आयु 50 वर्ष है. इनमें वर्तमान सांसद रविशंकर प्रसाद 69 की आयु के साथ सबसे उम्रदराज जबकि मछुआटोली के 34 वर्षीय मो शाहिद आलम सबसे कम उम्र के उम्मीदवार हैं. कांग्रेस के अंशुल अविजित 54 वर्ष के हैं. 50 वर्ष या उससे अधिक आयु वाले उम्मीदवारों की संख्या आठ है.
अंशुल कैंब्रिज विवि से पीएचडी धारक तो रविशंकर सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता
शैक्षणिक आधार पर देखें तो कांग्रेस से महागठबंधन के उम्मीदवार अंशुल अविजित के पास लंदन के कैंब्रिज विश्वविद्यालय से एमफिल और पीएचडी की डिग्री है. उनकी आय का मुख्य स्त्रोत टीचिंग व कंसल्टेंसी है. उनका मूल निवास दिल्ली के कालकाजी विधानसभा क्षेत्र में पड़ता है. वहीं, एनडीए समर्थित भाजपा उम्मीदवार और वर्तमान सांसद रविशंकर प्रसाद ने पटना विवि से एमए एलएलबी की डिग्री ले रखी है और सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता भी हैं. लीगल प्रोफेशन के साथ ही सैलरी, निवेश और रेंटल उनकी आय का स्त्रोत है. अन्य उम्मीदवारों में अधिकांश के पास बीए, बीकॉम, एमएड से लेकर एमबीए की डिग्री है. कुल 17 उम्मीदवारों में चार व्यवसायी, दो शिक्षण कार्य, एक अधिवक्ता, एक खेतबारी और एक कपड़ा प्रेस करने के कार्य से जुड़े हैं. तीन डॉक्टरों में दो होमियोपैथी के चिकित्सक हैं.
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